World Hypertension Day : बंगाल में इतने करोड़ लोगों में हाइपरटेंशन | Sanmarg

World Hypertension Day : बंगाल में इतने करोड़ लोगों में हाइपरटेंशन

सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : पश्चिम बंगाल में लगभग 22% लोगों में हाइपरटेंशन की समस्या है। राज्य के स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों के अनुसार, राज्य में लगभग 1 करोड़ व्यस्कों में हाइपरटेंशन की समस्या है। इसके लिये राज्य निर्धारित स्टैंडर्ड ट्रीटमेंट प्रोटोकॉल तैयार किया गया है जिसे डब्ल्यूएचओ और आईसीएमआर से अनुमोदन मिला है। डॉक्टरों का कहना है कि हाइपरटेंशन के इलाज के लिये प्रोटोकॉल को मानना काफी आवश्यक है।
पकड़ में न आये तो साइलेंट किलर है हाइपरटेंशन
डॉक्टरों का कहना है कि अगर सही समय पर पकड़ में न आये तो हाइपरटेंशन की समस्या किसी साइलेंट किलर से कम नहीं है। इस बारे में फोर्टिस अस्पताल के एसोसिएट कंसल्टेंट कार्डियोलॉजी डॉ. पल्लव कुमार बोस ने कहा, ‘युवा उम्र में हाइपरटेंशन की समस्या अधिक देखी जा रही है जिसे यंग ऑनसेट हाइपरटेंशन कहते हैं। बाद में किसी तरह की हार्ट की समस्या ना हो, इसके लिये हाइपरटेंशन का इलाज समय रहते आवश्यक है। यंग ऑनसेट हाइपरटेंशन का कारण सेकेंडरी हाइपरटेंशन से अलग होता है। यह मुख्य तौर पर खराब भोज की आदत के कारण होता है। इसके अलावा अनुवांशिक होने के साथ ही स्मोकिंग के कारण भी यह होता है।’
कोविड ने बढ़ायी हाइपरटेंशन की समस्या
कोविड काल के बाद हाइपरटेंशन की समस्या बढ़ गयी है क्योंकि लोगों में मानसिक तनाव बढ़ गया है। मानसिक तनाव के कारण ब्लड प्रेशर स्तर पर असर पड़ता है और इससे हाइपरटेंशन की समस्या बढ़ जाती है। इसके अलावा लॉकडाउन के दौरान लाइफस्टाइल, लोगों का घरों में बंद रहने आदि के कारण भी यह समस्या बढ़ी है। वहीं दैनिक जीवन में आये बदलाव के कारण लोगों का मानसिक तनाव बढ़ा है।
हाइपरटेंशन के मरीजों को यह करना चाहिये
डॉक्टरों का कहना है कि भले ही हाइपरटेंशन आम बीमारी है, लेकिन नियंत्रित नहीं किये जाने पर यह गंभीर होने के साथ लाेगों की मृत्यु का कारण भी बन सकती है। क्रॉनिक हाइपरटेंशन लोगों के मुख्य अंगों पर असर डालती है और इससे हार्ट अटैक, स्ट्रोक और किडनी की बीमारी होती है। आईएलएस अस्पताल के कंसल्टेंट, इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजिस्ट, डॉ. अभिनय टिबड़ेवाल ने कहा, ‘हाइपरटेंशन के मामले में ओवरवेट व्यक्ति को अपना वजन कम करने की आवश्यकता है। इसके अलावा स्मोकिंग छोड़ना होगा क्योंकि यह ब्लड वेसल की दीवारों को क्षति पहुंचाता है। गलत भोजन की आदतों से भी यह समस्या होती है। डाइट में सोडियम की मात्रा कम करनी चाहिये और एक दिन में 1500 मि.ग्रा. से कम सोडियम डाइट में लेना चाहिये। सूप, टोमैटो सॉस आदि में काफी मात्रा में सोडियम होता है। हरी सब्जी, फल व हाई पोटैशियम वाले भोजन करने चाहिये। रोजाना एयरोबिक एक्सरसाइज की जानी चाहिये. उम्र और हाइट के अनुसार वजन रखने की आवश्यकता है। ओवरवेट होेने ब्लड प्रेशर में समस्या हो सकती है। अल्कोहल का सेवन कम करने के साथ मानसिक तनाव भी कम लेना चाहिये।’
हाइपरटेंशन के मरीजों में लक्षणसिर दर्द, सांस लेने में समस्या, नाेज ब्लीड। हालांकि अक्सर देखा जाता है कि हाई ब्लड प्रेशर ना होने तक या हाइपरटेंशन की समस्या काफी गंभीर ना होने तक ये लक्षण दिखाई नहीं देते हैं।

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