आखिर क्या है रात को नींद नहीं आने का कारण, चैन की नींद सोने के लिए करें ये काम | Sanmarg

आखिर क्या है रात को नींद नहीं आने का कारण, चैन की नींद सोने के लिए करें ये काम

कोलकाता : चैन की नींद का अर्थ है बिना किसी विघ्न के रात्रि में 6 से 7 घंटे तक सोना। चैन की नींद वह है जब प्रात: आप उठें तो बिलकुल तरोताजा हों। कोई आलस्य नहीं, शरीर में भारीपन नहीं, न कोई थकान हो। शरीर बस स्फूर्ति से भरा हुआ, काम करने की इच्छा, मूड अच्छा हो, ये सभी निशानियां हैं चैन की नींद की। जब कभी कई घंटे सोने के बाद भी आपको महसूस हो कि आप रातभर सोए नहीं हैं तो ऐसे में आप नींद न आने की समस्या के शिकार हैं। अगर आप भी इस समस्या से जूझ रहे हैं तो ध्यान दें कुछ बातों पर जो आपको अच्छी नींद लाने में आपकी मदद कर सकें।

निश्चित समय पर सोएं

शोधकर्ताओं के अनुसार अगर आप जब चाहें सो जाएं और जब तक नींद न आए, जागते रहें, ऐसा रूटीन होने पर आप चैन की नींद नहीं ले पाते। कभी 10 बजे, कभी 11 बजे और कभी 12 बजे सोते हैं तो अपनी इस आदत को बदल डालें। सोने का एक निश्चित समय बनाएं चाहे नींद आए या न आए निश्चित समय पर लाइट बंद कर बिस्तर पर चले जाएं और आंखें बंद कर सोने का प्रयास करें। कभी-कभी मजबूरीवश तो ठीक है कि आप लेट सो रहे हैं पर आदत अपनी न बिगडऩे दें नहीं तो आप अनिद्रा के शिकार हो सकते हैं।

दिन में न सोएं

कुछ लोग अगर रात्रि को नींद पूरी नहीं हुई हो तो दिन में कुछ घंटे सोकर नींदपूरी करते हैं। यह भी आदत सही नहीं क्योंकि दिन में सोने के बाद फिर से रात्रि में समय पर नींद नहीं आएगी और यह सिस्टम आगे तक चलता रहेगा और आप अपनी उस आदत के गुलाम बन जाएंगे। दिन में न सोएं ताकि रात्रि में आपको समय पर नींद आ सके। अगर कभी जरूरी लगे दिन में सोना तो 20 मिनट की अच्छी नींद ही लें जो आपको तरोताजा बना देगी।

नियमित करें व्यायाम

चैन की नींद हेतु नियमित आधे घंटे का व्यायाम अवश्य करें ताकि शरीर के जोड़ और मांसपेशियां खुल जाएं और खून का शरीर में संचार ठीक होता रहे। ये सब अच्छी नींद लाने में मदद करते हैं। व्यायाम आप जिम जाकर भी कर सकते हैं, घर पर योग, पार्क मेंवॉकिंग, स्विमिंग, साइकलिंग कुछ भी जो आपको सुखद लगे, उसी व्यायाम को अपनी दिनचर्या का हिस्सा बनाएं। चाहें तो बदल-बदल कर भी व्यायाम कर सकते हैं। व्यायाम प्रात: खाली पेट या शाम डिनर से कम से कम एक घंटा पहले करें। डिनर के बाद थोड़ा टहल लें।

गुनगुने पानी का स्नान लें

अगर आप बहुत थके हैं तो कुनकुने पानी का स्नान लें ताकि आपकी मसल्स रिलैक्स हो जाएं। नींद अच्छी आएगी।

डिनर का रखें विशेष ध्यान

रात्रिका भोजन सोने से कम से कम दो तीन घंटे पूर्व करने की आदत बना लें ताकिखाना पचना प्रारम्भ हो जाए। रात्रि में खाना हल्का और सुपाच्य लें, खानेमें मसालों का सेवन कम से कम करें। भारी खाने के बाद नींद आने में मुश्किलहो सकती है। खाने की मात्रा भी कम लें। अगर आप शाम को 7 बजे तक डिनर करलेते हैं तो 10 बजे तक 1 कप गर्म दूध ले सकते हैं। नींद अच्छी आएगी।

चायकॉफी का सेवन शाम के बाद न करें। चाय और कॉफी का सेवन शाम के 5 बजे के बादन करें क्योंकि इनमें कैफीन होती है जो नींद को दूर भगाती है। दिन भर भीइनका सेवन कम से कम करें। रात्रि में भोजन के उपरांत चाय या कॉफी बिलकुल नपीएं। रात्रि में नींद लेट आएगी और डिस्टबर्ड नींद आएगी।

सोने से पहले टीवी और कम्प्यूटर पर न जाएं

रात्रि में सोने से कम से कम एक डेढ़ घंटा पहले टीवी बंद कर दें और कम्प्यूटर पर भी काम न करें। तो न ही मोबाइल पर गाने सुनें, न ही कोई एसएमएस भेजें और रिसीव करें। ये इलैक्ट्रोनिक्स आइटम्स नींद लाने में खलल डालते हैं उनसे दूरी रखें। हो सके तो कोई मैग्जीन, नावल, आध्यात्मिक पुस्तक पढ़ें ताकि नींद अच्छी आ सके।

खिड़की खुली रखें

जिस कमरे में आप सोते हैं। रात्रि में उस कमरे की एक खिड़की खोलकर रखें ताकि ताजा हवा आपको मिल सके और नींद अच्छी आ सके। इस बात का ध्यान रखें कि आसपास तेज आवाजें आपके कमरे के पास न आ रही हों इससे भी नींद खराब होती है।

रात्रि में पहनें खुले वस्त्र

सोने से पहले नहाना संभव न हो तो अच्छी तरह हाथ-मुंह धोकर, ब्रश कर रात्रि के समय खुले कम्फर्टेबल वस्त्र पहनें। नाइट सूट सूती और खुले होने चाहिए ताकि आपका शरीर उन्हें पहनकर आराम महसूस कर सके।

बेड को रखें साफ

जिस बिस्तर पर आपको सोना हो उसकी बेड शीट, पिल्लो कवर धुले, साफ और आराम दायक होने चाहिए। सोने का कमरा भी साफ सुथरा हो तो नींद अच्छी आती है। मौसम के अनुसार ऊपर ओढऩे वाली चादर, कंबल भी साफ सुथरा हो। कभी-कभी कंबल और रजाई को धूप लगवाते रहें। गद्दों को भी धूप लगवाते रहें। गद्दे आरामदायक होने चाहिए अधिक सख्त या अधिक नर्म गद्दे भी नींद न आने में मदद करते हैं।
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