शिखर धवन ने अपने संस्मरण लिखे

धवन ने अपनी किताब ‘द वन : क्रिकेट, माय लाइफ एंड मोर’ के बारे में कहा, ‘क्रिकेट ने मुझे जीने का मकसद दिया लेकिन इस सफर में उतार चढाव और खामोश पल भी रहे
शिखर धवन ने अपने संस्मरण लिखे
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नयी दिल्ली : भारत के पूर्व सलामी बल्लेबाज शिखर धवन ने अपने जीवन के संस्मरणों को कलमबद्ध किया है जिसमें रिश्तों से लेकर दोस्ती तक और मैदान के भीतर तथा बाहर के विवादों पर भी खुलकर बात की है। धवन ने अपनी किताब ‘द वन : क्रिकेट, माय लाइफ एंड मोर’ के बारे में कहा, ‘क्रिकेट ने मुझे जीने का मकसद दिया लेकिन इस सफर में उतार चढाव और खामोश पल भी रहे। इसने मुझे वह इंसान बनाया जो आज मैं हूं। मैं दिल से अपनी कहानी कह रहा हूं जो ईमानदार और किसी फिल्टर के बिना है।’

प्रकाशक हार्पर कोलिंस इंडिया ने कहा, ‘पूरी स्पष्टवादिता और ईमानदारी के साथ लिखी गई 'द वन' शिखर धवन के आंतरिक संवाद और उन सभी कमजोरियों की अभूतपूर्व झलक पेश करती है जिन्होंने उन्हें एक चैंपियन क्रिकेटर और संवेदनशील इंसान बनाया है।’ कंपनी के प्रकाशक सचिन शर्मा ने कहा, ‘शिखर धवन का मैदान के भीतर और बाहर जीवन शानदार रहा है। इस संस्मरण में शिखर ने अपने जीवन, रिश्तों और हर उस अनुभव के बारे में बात की है जिसका उन्होंने सामना किया और मजबूत होकर निकले हैं।’ दिल्ली में पले बढे धवन ने बतौर विकेटकीपर शुरूआत की थी लेकिन बाद में सलामी बल्लेबाज बने। भारत के लिये 34 टेस्ट में उन्होंने 2315 रन, 167 वनडे में 6793 रन और 68 टी-20 मैचों में 1759 रन बनाये हैं।

उन्होंने किताब में लिखा, ‘जब मैं भारतीय टीम में आने की कोशिश कर रहा था तब सोशल मीडिया नया था और क्रिकेटरों पर इतनी नजर नहीं रखी जाती थी। लेकिन प्रिंट और प्रसारण मीडिया चरम पर था।’ उन्होंने लिखा, ‘टीम चयन और व्यक्तिगत प्रदर्शन पर चर्चा होती थी और लोग पढते थे। आजकल की तरह नहीं जब सोशल मीडिया रातोरात क्रिकेटर को हीरो से जीरो बना देता है।’ धवन ने महेंद्र सिंह धोनी से पहली मुलाकात के बारे में लिखा है, ‘मैं उसे एक बॉलीवुड मूवी में देखना चाहता था। वह फिल्म स्टार की तरह दिखता था। लंबे बाल और आकर्षक मुस्कान। हम आपस में बात कर रहे थे और मैने उससे कहा कि मैं भारत के लिये खेलना चाहता हूं और मैं चाहता हूं कि तुम बॉलीवुड हीरो बनो। वह बहुत हंसने लगा।’

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