टॉप न्यूज़

तालिबान के विदेश मंत्री मुत्ताकी जाएंगे देवबंद और आगरा जाकर ताजमहल का करेंगे दीदार

नई दिल्ली: अफगानिस्तान के विदेश मंत्री आमिर खान मुत्ताकी अपने छह दिवसीय भारत दौरे के दौरान शनिवार को उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले के देवबंद और रविवार को आगरा जाएंगे। सहारनपुर पुलिस के अनुसार, देवबंद में अपने एक दिवसीय दौरे के दौरान मुत्ताकी दारुल उलूम देवबंद जाकर उलेमाओं, विद्वानों और प्रशासकों से मुलाकात करेंगे। वहीं दोपहर के आसपास उनके देवबंद पहुंचने और शाम तक दिल्ली लौटने की संभावना है।

पुलिस अधीक्षक (सहारनपुर ग्रामीण) सागर जैन ने कहा कि दौरे से पहले पुलिस व खुफिया इकाइयों को तैनात किया गया है और व्यापक सुरक्षा व्यवस्था की गई है। जिला प्रशासन ने यात्रा के लिए दारुल उलूम के अधिकारियों के साथ समन्वय किया है। दारुल उलूम कार्यालय के प्रभारी मुफ्ती रेहान उस्मानी ने दौरे की पुष्टि करते हुए कहा कि अफगान मंत्री के स्वागत की तैयारियां की जा रही हैं।

अफगान छात्रों से करेंगे बातचीत

उन्होंने कहा कि पहले हमें उम्मीद थी कि वह दो दिन रुकेंगे, लेकिन व्यस्त कार्यक्रम के कारण दौरा केवल एक दिन का रहेगा। वह दारुल उलूम के मोहतमिम मुफ्ती अबुल कासिम नोमानी, जमीयत उलमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी और अन्य वरिष्ठ उलेमा से मुलाकात करेंगे। यात्रा के दौरान मुत्तकी दारुल उलूम में पढ़ रहे अफगान छात्रों से बातचीत कर सकते हैं। साथ ही वह इसकी ऐतिहासिक लाइब्रेरी भी जा सकते हैं। उनके आगमन को लेकर छात्रों और स्थानीय निवासियों में खासा उत्साह है।

ताजमहल देखने जाएंगे अफगान विदेश मंत्री

वहीं रविवार को अफगान विदेश मंत्री मुत्ताकी आगरा जाकर ताजमहल के दीदार करेंगे। अधिकारियों के अनुसार, वह सुबह आठ बजे के आसपास यमुना एक्सप्रेसवे के रास्ते दिल्ली से रवाना होंगे और पूर्वाह्न 11 बजे तक वहां पहुंचेंगे। उन्हें इलेक्ट्रिक गोल्फ कार्ट से ताजमहल ले जाया जाएगा और वह वहां करीब डेढ़ घंटा बिताएंगे, जिसके बाद दोपहर में दिल्ली लौट आएंगे।

सुरक्षा व्यवस्था मजबूत

आगरा जिला प्रशासन ने इस उच्च-स्तरीय दौरे के लिए विशेष सुरक्षा प्रबंध किए हैं। एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि किसी भी तरह की चूक बर्दाश्त नहीं की जाएगी और उनके पूरे प्रवास के दौरान सुरक्षा कड़ी रहेगी। तालिबान के सत्ता में आने के चार साल बाद किसी वरिष्ठ मंत्री की भारत की यह पहली आधिकारिक यात्रा है। यह दौरा इसलिए भी महत्वपूर्ण माना जा रहा है क्योंकि यह ऐसे समय हो रहा है। जब भारत और अफगानिस्तान दोनों के पाकिस्तान के साथ खासकर सीमा पार आतंकवाद जैसे मुद्दों को लेकर संबंध तनावपूर्ण हैं।

SCROLL FOR NEXT