सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : विश्व नवकार महामंत्र दिवस पर नेताजी इंडोर स्टेडियम में आयोजित कार्यक्रम में हजारों की संख्या में भक्तों को मुनि श्री जिनेश कुमार जी ने अहम संदेेश दिया। उन्होंने नवकार महामंत्र की महिमा बतायी। उन्होंने कहा कि मंत्र का बहुत बड़ा मूल्य है। मंत्र एक किले के समान है। मंत्र साधना से आसपास का वातावरण शुद्ध होता है। जन जन की आस्था का केंद्र है नवकार महामंत्र। जैन वह है जो नवकार मंत्र में विश्वास रखता है। इसके जाप से अज्ञानता दूर होती है और पापों का नाश होता है। कोई भी शुभ काम करते हैं तो इस मंत्र का उपयोग करते हैं। यह मंत्र शक्ति प्रदान करता है। इसके जाप से मोक्ष की प्राप्ति होती है। आज के दिन यह शुभ संकल्प लें कि मैं निरंतर नवकार मंत्र का जाप करूंगा। ऐसा ग्रंथों में कहा गया है कि 8 करोड़ 8 लाख 8 हजार 8 साै 8 बार यदि कोई नवकार मंत्र का जाप करता है तो उसे मोक्ष की प्राप्ति हो जाती है। इतना बड़ा इसका मूल्य है। जिसका मन इस मंत्र में रमा रहता है उसका कोेई कुछ बिगाड़ नहीं सकता है। उन्होंने कहा कि जो जितना विनयमान होगा वह उतना ही विद्यावान होगा। आज के समय में विनय की सबसे अधिक आवश्यकता है। इस महामंत्र ने अस्थिर को स्थिर बनाया है। सभी से कहूंगा कि नवकार मंत्र के प्रति आस्था रखें। यह कल्याण करने वाला है और जैन एकता को मजबूत बनाने वाला है। चाहे दिगम्बर हो चाहे श्वेताम्बर, सब इसे स्वीकार करते हैं। मैं सभी के मंगल की कामना करता हूं।