
सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : महानगर में लगातार कई दिनों से भारी बारिश हो रही है। ऐसे में मौसम की मार के कारण सब्जियों की कीमतें बढ़ गई हैं। बारिश और खराब मौसम के कारण मंडियों में सब्जियों की आपूर्ति कम हो गई है, जिससे कीमतें बढ़ रही हैं। यह सच है कि बढ़ती महंगाई के कारण, हरी सब्जियां आम लोगों की थाली से गायब होती जा रही हैं। विशेष रूप से टमाटर, कैप्सीकम, बैंगन, सहजन, करेला और अन्य हरी सब्जियों की कीमतें इतनी बढ़ गई हैं कि मध्यम और निम्न वर्ग के परिवारों के लिए उन्हें खरीदना मुश्किल हो गया है। इससे न केवल लोगों के भोजन की थाली पर असर पड़ रहा है, बल्कि उनकी पूरी रसोई के बजट पर भी असर पड़ रहा है।
लगातार बारिश से बैंगन, कैप्सीकम व करेला की फसल बर्बाद
राज्य में लगातार बारिश के कारण काफी सब्जियों की खेती नष्ट हुई है। मछुआ के एक व्यवसायी बिरजू ने बताया कि भारी बारिश और तूफान ने बैंगन की फसलों को तबाह कर दिया है। पौधों में अत्यधिक बारिश के पानी ने जड़ों को कमजोर कर दिया और समय से पहले फूल झड़ गए, जिससे उत्पादन में कमी आई। इससे कई जगहों पर किसानों ने जोखिम के कारण बैंगन की खेती पूरी तरह से बंद कर दी है। इसके अलावा महानगर के बाजारों में सहजन, शिमला मिर्च, गाजर और बीन्स जैसी सब्जियों की कीमतों में भारी वृद्धि देखी जा रही है।
यह कहा सब्जी व्यवसायियों ने
सियालदह के कोले मार्केट में सब्जी व्यवसायी आकाश साव ने सन्मार्ग को बताया कि बाजारों में कई सब्जियों की कीमत शतक छूने को है। बाजारों में हरी सब्जियों में पटल की कीमत बजट में है, लेकिन अन्य सब्जियों सहजन, बैंगन, करेला, शिमला मिर्च, गाजर और बीन्स जैसी सब्जियों की कीमत में बढ़ोतरी देखी जा रही है। आगे उन्होंने कहा कि करीब दो सप्ताह से सब्जियों की उपज में काफी गिरावट आयी है। इसके अलावा सब्जी व्यवसायियों का अनुमान है कि दुर्गापूजा तक सब्जियों की कीमत में गिरावट आने की उम्मीद नहीं है।
एक नजर सब्जियों की कीमतों पर
शिमला मिर्च 140-150
सहजन 100-120
बैंगन 70-80
करेला 60-80
गाजर 60-80
भिंडी 60-70
पटल 40-50
खीरा 60-70