

प्रसेनजीत, सन्मार्ग संवाददाता
अलीपुरदुआर: मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने रविवार को अपने बयान को तोड़-मरोड़ कर पेश किए जाने पर तीखी नाराजगी जताई। दमदम एयरपोर्ट में दुर्गापुर मेडिकल कॉलेज की छात्रा से जुड़े मामले में उनकी टिप्पणी को लेकर विवाद के बाद ममता ने कहा, मेरे भाषण को जानबूझकर विकृत किया गया है। आप सवाल पूछते हैं, मैं जवाब देती हूं, फिर मेरे शब्दों को संदर्भ से हटाकर पेश किया जाता है। मुझसे इस तरह की गंदी राजनीति मत कीजिए। मैं फिर भी आपके सामने आकर जवाब देती हूं, जबकि दूसरे लोग तय सवालों पर ही बोलते हैं।
उल्लेखनीय है कि दुर्गापुर के निजी मेडिकल कॉलेज की दूसरी वर्ष की छात्रा से जुड़े सामूहिक बलात्कार मामले में अब तक तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। शेष आरोपियों की तलाश के लिए पुलिस घटना स्थल के आसपास के क्षेत्रों में तलाशी अभियान चला रही है और ड्रोन का भी इस्तेमाल किया जा रहा है। इस मामले पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने रविवार को उत्तर बंगाल के दौरे से पहले बयान दिया। उन्होंने कहा, यह अत्यंत निंदनीय घटना है। पुलिस आरोपियों की खोज कर रही है और किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा। उत्तर प्रदेश में तो ऐसा होता है कि पीड़िता को अदालत जाने से पहले रास्ते में मारकर जला दिया जाता है। हम किसी भी मामले में ऐसी सहमति नहीं रखते। बंगाल में हम शून्य सहिष्णुता नीति के साथ काम करते हैं। निजी मेडिकल कॉलेजों का भी जिम्मेदारी है कि वे अपने छात्रों की देखभाल करें। जो छात्र हॉस्टल में रहते हैं, उन्हें अपनी सुरक्षा खुद सुनिश्चित करनी होगी। पुलिस यह पता नहीं कर सकती कि कौन कब बाहर निकल रहा है।
मुख्यमंत्री फिलहाल उत्तर बंगाल के दूसरे चरण के दौरे पर हैं। उन्होंने कहा कि हाल की प्राकृतिक आपदा में जो लोग सराहनीय कार्य कर रहे हैं—जैसे सिविल डिफेंस, दमकल विभाग और अन्य आपात कर्मी, उन्हें राज्य सरकार की ओर से सम्मानित किया जाएगा। ममता ने बताया कि वे अलीपुरदुआर में प्रशासनिक समीक्षा बैठक के बाद हासीमारा में रात्रि विश्राम करेंगी। सोमवार को वे नागराकाटा और आस-पास के क्षेत्रों का निरीक्षण करेंगी और फिर उत्तरकन्या लौटेंगी। मंगलवार को उनका कार्यक्रम मिरिक और दार्जिलिंग का होगा, जहां वे दोनों जिलों की स्थिति की समीक्षा करेंगी। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि 'आमादेर पाड़ा, आमादेर समाधान' योजना के तहत प्रत्येक बूथ को 10 लाख रूपये का आवंटन किया गया है, जिसकी कुल राशि करीब 8,000 करोड़ है। यह कार्यक्रम पहले 6 नवंबर तक चलने वाला था, लेकिन आपदा-प्रभावित जिलों में आधार और दस्तावेज़ी कार्य पूरे करने के लिए इसे बढ़ाया जाएगा। उन्होंने