

कोलकाता : भारत सेवाश्रम व रामकृष्ण मिशन के संन्यासियों पर राजनीति का आरोप लगाने वाली मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की टिप्पणी पर विवाद हो रहा है। इस बीच बहरामपुर भारत सेवाश्रम संघ के अध्यक्ष कार्तिक महाराज ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को कानूनी नोटिस भेजा है। राज्य के विपक्षी नेता शुभेंदु अधिकारी ने सोमवार सुबह एक्स हैंडल पर पत्र पोस्ट किया।
कानूनी नोटिस में कार्तिक महाराज ने दावा किया कि मुख्यमंत्री की टिप्पणियों से उनका अपमान हुआ है। उन्होंने सीएम ममता बनर्जी से बिना शर्त माफी की मांग की है। यह पत्र शुभेंदु ने पोस्ट किया था। उन्होंने कार्तिक महाराज के कानूनी नोटिस भेजने के फैसले को साहसिक कदम बताया। शुभेंदु ने यह भी दावा किया कि सच्चाई और परंपरा की हमेशा जीत होगी।
गौरतलब है कि यह विवाद पिछले शनिवार को शुरू हुआ था। उस दिन ममता बनर्जी लोकसभा चुनाव 2024 के प्रचार के लिए कामारपुकुर गई थीं। उन्होंने उस बैठक से भारत सेवाश्रम संघ बहरामपुर के प्रमुख कार्तिक महाराज का जिक्र करते हुए कहा, "सभी संत समान नहीं होते हैं। मैं कार्तिक महाराज को संत नहीं मानती जो कहते हैं कि वह तृणमूल एजेंटों को बैठने नहीं देंगे। वह सीधी राजनीति से देश को बर्बाद कर रहे हैं।" उसके बाद रामकृष्ण मिशन, भारत सेवाश्रम संघ, इस्कॉन मंदिर राजनीति को जोड़ा गया। इस टिप्पणी पर विवाद खड़ा हो गया जिसके बाद प्रधानमंत्री ने रविवार को पुरुलिया में चुनावी मंच से मुख्यमंत्री पर जमकर निशाना साधा।
उन्होंने कहा, कहा, "तृणमूल अपने वोट बैंक को खुश करने के लिए इतना नीचे आ गयी है! वे बंगाल के लाखों लोगों की भक्ति और भावनाओं के बारे में नहीं सोचते। स्वामी विवेकानन्द, प्रभुपाद, प्रणवानन्द महाराज का अपमान देश बर्दाश्त नहीं करेगा। जो सरकार बंगाल के लोगों की संस्कृति का सम्मान नहीं करती, उन्हें वोट देकर दंडित करें। ताकि वे अब संतों का अपमान न कर सकें।"