

सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : बर्खास्त योग्य टीचरों ने प्राइमरी टीचर के पद पर नियुक्ति दी जाने का आदेश देने के लिए हाई कोर्ट में रिट दायर की है। करीब छह सौ पीटिशनरों ने इस मामले में सु्प्रीम कोर्ट के फैसले के पैरा 47 का हवाला दिया है। यहां गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने उच्च माध्यमिक की 2016 की नियुक्ति प्रक्रिया को खारिज कर दिया है। लिहाजा ये बेरोजगार हो गए हैं। वैकेशन बाद इसकी सुनवायी होने की उम्मीद है।
एडवोेकेट आशिष कुमार चौधरी ने यह जानकारी देते हुए बताया कि अन्वेशा मुखर्जी सहित करीब छह सौ पीटिशनरों ने यह मामला दायर किया है। एडवोकेट चौधरी ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट ने 2016 की नियुक्ति प्रक्रिया को खारिज करते हुए अपने आदेश में कहा है कि ये लोग चाहे तो अपने पुराने काम पर लौट सकते हैं। इसी का हवाला देते हुए उन्होंने अपर प्राइमरी की नियुक्ति प्रक्रिया में शामिल किए जाने के लिए आवेदन किया था। बोर्ड ने उनके आवेदन को खारिज कर दिया तो उन्होंने हाई कोर्ट में रिट दायर की है। एडवोकेट चौधरी बताते हैं कि इन पीटिशनरों की गाथा बेहद दिलचस्प है। उन्हें क्या पता था कि एक बार नियुक्ति पाने के बाद ऐसा दिन भी आएगा। एडवोकेट चौधरी ने बताया कि अपर प्राइमरी और उच्च माध्यमिक के लिए नियुक्ति प्रक्रिया 2016 में कमोबेश एक ही समय शुरू हुई थी। इन पीटिशनरों ने दोनों में ही आवेदन किया था। प्राइमरी के मेरिट लिस्ट के साथ ही उनके नाम इंटरव्यू के पहले और दूसरे लिस्ट दोनों में ही थे। एडवोकेट चौधरी बताते हैं कि उच्च माध्यमिक की नियुक्ति प्रक्रिया पहले पूरी हो गई और सफल रहने के कारण इन लोगों ने ज्वायन भी कर लिया। अब जाकर जब कहर टूटा तो उन्होंने प्राइमरी की तरफ रुख किया है। प्राइमरी बोर्ड का कहना है कि इन पीटिशनरों ने पूरी नियुुक्ति प्रक्रिया में हिस्सा नहीं लिया था। इसके अलावा जो उच्च पदों पर हैं वे प्राइमरी के टीचर पद के लिए आवेदन नहीं कर सकते हैं। दूसरी तरफ एडवोकेट चौधरी का दावा है कि जिस समय नियुक्ति के लिए अधिसूचना जारी की गई थी उस समय ऐसा कोई प्रावधान नहीं था। उम्मीद है कि वैकेशन के बाद ही इस मामले की सुनवायी होगी।