

सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : "ओम गण गणपतये नमः" की गूंज और भक्ति के रंग में रंगा आज का दिन पूरे शहर में उल्लास और उत्साह लेकर आया। गणेश चतुर्थी का पावन पर्व आज से प्रारंभ हो गया है और इसके साथ ही विघ्नहर्ता श्री गणेश के स्वागत की तैयारियां अपने चरम पर पहुंच गई हैं। कोलकाता के विभिन्न क्षेत्रों जैसे बड़ाबाजार, मानिकतल्ला, गणेश टॉकीज, भवानीपुर समेत कई इलाकों में चहल-पहल का माहौल रहा। मंगलवार की शाम बाजारों में खासा उत्साह देखा गया। पूजा सामग्री, सजावट, फल-फूल और मिठाइयों की दुकानों पर भारी भीड़ उमड़ी। लोग भगवान गणेश की मूर्तियों को अपने घरों और पंडालों तक ले जाते नजर आए। हर चेहरे पर आस्था और उमंग साफ झलक रही थी। दुकानदारों का कहना है कि पिछले कुछ दिनों से हो रही लगातार बारिश के कारण बिक्री पर असर पड़ा था, लेकिन मंगलवार को मौसम साफ होते ही बाजारों में ग्राहकों की रौनक लौट आई। विशेष रूप से पूजा से जुड़ी वस्तुओं की अच्छी बिक्री हुई। बच्चों से लेकर बुजुर्गों तक, हर वर्ग के लोग बप्पा की तैयारी में जुटे दिखे। गणेश चतुर्थी का त्योहार भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को मनाया जाता है। यह पर्व केवल पूजा-पाठ तक सीमित नहीं है, बल्कि इसे व्यापार में नई शुरुआत और समृद्धि का प्रतीक भी माना जाता है। गणेश जी को बुद्धि, समृद्धि और सौभाग्य का दाता माना जाता है, इसलिए यह पर्व विशेष महत्व रखता है।कोलकाता के पंडालों में भी सजावट की तैयारियां जोरों पर हैं। इस अवसर पर कई सांस्कृतिक कार्यक्रमों और भजन संध्या का आयोजन किया जा रहा है। भक्तों में भगवान गणेश के स्वागत का उल्लास और श्रद्धा देखते ही बन रही है। शहर भर में गणपति बप्पा मोरया की गूंज है और हर दिल में यही कामना है कि विघ्नहर्ता सभी के जीवन से दुखों का नाश करें और सुख-समृद्धि प्रदान करें।