

पूर्व मिदनापुर : मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को नेताजी इंडोर स्टेडियम से बेरोजगार शिक्षकों और शिक्षाकर्मियों को स्कूल जाने का संदेश दिया। उनके संदेश के बाद विभिन्न स्कूल प्राधिकारियों को आशा की किरण दिखाई दी। उन्होंने सोचा कि बेरोजगार शिक्षक और शिक्षाकर्मी मंगलवार से स्कूल लौट आएंगे। जो लोग अपने सहकर्मियों के लिए रोये, वे भी खुश थे लेकिन मंगलवार पूर्व मिदनापुर के अधिकांश स्कूलों में बेरोजगार शिक्षक और शिक्षाकर्मी नजर नहीं आए। जिसके कारण यह साफ है कि मुख्यमंत्री के संदेश के बाद भी बेरोजगारों की दुविधा खत्म नहीं हुई है।
पूर्व मिदनापुर जिले के नटशाल हाई स्कूल के प्रधानाध्यापक विप्रनारायण पांडा ने कहा, हमारे स्कूल में 1,145 छात्र हैं। इनमें 19 शिक्षक और 4 गैर-शिक्षण कर्मचारी हैं। कुल 6 लोगों की नौकरी चली गई है, जिससे परेशानी बढ़ गई है। आज भी उनमें से बहुत से लोग नहीं आये। हम इस बात का इंतजार कर रहे हैं कि यह समस्या कब सुलझेगी। गोंखली हाई स्कूल के प्रधानाध्यापक ने कहा, हमारे स्कूल में छात्रों की संख्या 810 है। 26 शिक्षक और 6 शिक्षाकर्मी हैं लेकिन इसमें कई समस्याएं हैं क्योंकि 4 शिक्षकों और शिक्षाकर्मियों की नौकरियां रद्द कर दी गई हैं। मुझे उम्मीद थी कि वे आएंगे, लेकिन वे नहीं आए। मैं सोच रहा हूं कि वे स्कूल वापस आएंगे भी या नहीं। हल्दिया पुनर्वास विद्यालय के प्रधानाध्यापक तपन कुमार जाना ने कहा कि महिषादल बालिका उच्च विद्यालय में भी स्थिति ऐसी ही है। उन्होंने कहा कि इससे स्कूल संचालन में भी दिक्कतें आ रही हैं। पांशकुड़ा और कोलाघाट के अधिकांश स्कूलों में बेरोजगार शिक्षक नहीं आये। मालूम हो कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को नेताजी इंडोर स्टेडियम से बेरोजगारों से काम पर लौटने को कहा था। इसके अलावा, उन्होंने श्योग्यश् लोगों के साथ खड़े रहने का आश्वासन भी दिया। हालांकि, यह स्पष्ट है कि मुख्यमंत्री के साथ बेरोजगारों की बैठक के बाद भी कई लोग अभी झिझक रहे हैं।