

श्री विजयपुरम : अंडमान और निकोबार द्वीप समूह की राजधानी पोर्ट ब्लेयर इन दिनों देशभर में चर्चा का केंद्र बना हुआ है। श्री विजयपुरम में पुलिस द्वारा जब्त की गई 36,000 करोड़ रुपये की नशीली दवाओं को नष्ट करने की प्रक्रिया शुरू की गई है। अंडमान और निकोबार पुलिस ने भारत की सबसे बड़ी नशीली दवाओं की जब्ती रही। 6,000 किलोग्राम से अधिक को नष्ट करने का ऐतिहासिक अभियान शुरू किया है।
ड्रग तस्करी और राष्ट्रीय सुरक्षा पर केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने नई दिल्ली में 'ड्रग तस्करी और राष्ट्रीय सुरक्षा' पर एक क्षेत्रीय सम्मेलन की अध्यक्षता की। जहां उन्होंने विशेष ड्रग निपटान पखवाड़ा पहल की शुरुआत की, जिसमें ड्रग के खतरे को खत्म करने के लिए देश की प्रतिबद्धता की पुष्टि की गई। अमित शाह ने अपने संबोधन में देश के भविष्य की सुरक्षा में इस अभ्यास के महत्व पर प्रकाश डाला, और 'नशा मुक्त भारत' के लिए सरकार की प्रतिबद्धता की पुष्टि की। इस पहल की शुरुआत करते हुए अंडमान और निकोबार पुलिस ने लगभग 6,000 किलोग्राम मेथमफेटामाइन की देश की अब तक की सबसे बड़ी जब्त की गई ड्रग्स को नष्ट करना शुरू कर दिया, जिसकी अनुमानित अंतरराष्ट्रीय कीमत लगभग 36,000 करोड़ रुपये है।
ड्रग्स के विनाश का तरीका और महत्व पर्यावरण संरक्षण पर रखा गया विशेष ध्यान
इस मौके पर डीजीपी हरगोबिंदर सिंह धालीवाल ने कहा कि इतनी बड़ी मात्रा को खत्म करने के लिए दहन प्रक्रिया (इंसिनरेशन) अपनाई जा रही है। यह सबसे प्रभावी तरीका है क्योंकि अन्य तरीकों जैसे पानी में बहाना, खुले में जलाना या मिट्टी में दफनाना, प्रदूषण को और बढ़ाते हैं। उन्होंने आगे बताया कि इस कार्य को रिकॉर्ड समय में पूरा किया जा सका क्योंकि इसमें नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो, गृह मंत्रालय और स्थानीय अधिकारियों का विशेष सहयोग प्राप्त हुआ। दहन के लिए नागरिक प्राधिकरणों से अनुमति ली गई है, ताकि प्रदूषण पर नियंत्रण रखा जा सके।
ड्रग्स को नष्ट करने के दौरान पर्यावरण को होने वाले नुकसान को कम करने पर विशेष ध्यान दिया गया है। इस प्रक्रिया से निकलने वाले प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए सभी मानकों का पालन किया गया। यह कदम न केवल नशीली दवाओं के खतरे को समाप्त करने की दिशा में एक बड़ा प्रयास है, बल्कि पर्यावरण संरक्षण के प्रति भी जागरूकता का परिचायक है। अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, अपनी रणनीतिक स्थिति और प्राकृतिक सुंदरता के लिए जाना जाता है, अब नशीली दवाओं के खिलाफ लड़ाई में भी अग्रणी भूमिका निभा रहा है। इस अभियान ने न केवल स्थानीय प्रशासन को सशक्त किया है, बल्कि देश को एक सशक्त संदेश भी दिया है कि नशीली दवाओं के खिलाफ जंग में भारत कोई कसर नहीं छोड़ेगा।
पूरी प्रक्रिया का देश के 11 अलग-अलग स्थानों से सीधा प्रसारण हुआ
यह अभियान नशा मुक्त समाज बनाने में अंडमान एवं निकोबार पुलिस के अटूट संकल्प को रेखांकित करता है। पूरी प्रक्रिया का देश के ग्यारह अलग-अलग स्थानों से सीधा प्रसारण किया गया और इसमें चंद्र भूषण कुमार, आईएएस, मुख्य सचिव, अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह और नीरज भारती, आईएएस (सचिव, गृह) भी शामिल हुए। विनाश प्रक्रिया को सावधानीपूर्वक वीडियो पर रिकॉर्ड किया गया और सभी कानूनी और प्रक्रियात्मक आवश्यकताओं के सख्त अनुपालन में संचालित किया गया। यह जी.बी. पंत अस्पताल में भस्मक क्षमता द्वारा बाधित एक व्यवस्थित निपटान प्रक्रिया का पहला चरण है, जिसमें जब्त किए गए सभी नशीले पदार्थों के पूर्ण विनाश तक अभियान जारी रहेगा।