हिंदी अकादमी ने आयोजित किया प्रेमचंद जयंती समारोह

Hindi Academy celebrates Premchand Jayanti
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सिलीगुड़ी ः पश्चिमबंग हिंदी अकादमी द्वारा सिलीगुड़ी महकमा सूचना एवं संस्कृति कार्यालय की व्यवस्था में गुरुवार 31 जुलाई को प्रेमचंद जयंती के उपलक्ष्य में 'प्रेमचंद के किरदार और हमारा समय' शीर्षक से प्रेमचंद जयंती-2025 समारोह का आयोजन स्थानीय तथ्यकेंद्र के रामकिंकर हॉल में किया गया। इस मुख्य अतिथि सिलीगुड़ी के मेयर गौतम देव ने कहा कि आज जिस तरह भाग दौड़ की जिंदगी में संवेदना गुम हो रही है उसमें प्रेमचंद का साहित्य एवं उनके किरदार संजीवनी समान हैं। इस दिशा में अकादमी की पहल सिलीगुड़ी वासियों के लिए गर्व का विषय है। अकादमी के सदस्य डॉ. अजय कुमार साव ने पठन-पाठन से लेकर पारिवारिक, सामाजिक एवं राष्ट्रीय ही नहीं वैश्विक परिपेक्ष्य में भी प्रेमचंद के किरदारों के बीच स्वयं को रखते हुए वर्तमान विसंगतियों के प्रति चिंतनशील एवं सृजनात्मक भूमिका को बेहद जरूरी बताया। सिलीगुड़ी-जलपाईगुड़ी विकास प्राधिकरण के चेयरमैन एवं आयोजक अकादमी के सदस्य दिलीप दूगड़ ने आयोजित प्रतियोगिताओं के मद्देनजर आज की पीढ़ी को बहुत बड़ी संभावनाओं से रूबरू कराया।

सिलीगुड़ी नगर निगम के डिप्टी मेयर रंजन सरकार ने कहा कि प्रेमचंद की रचनाओं को लेखन, वाचन, चित्रांकन एवं गायन जैसे आयाम में अपनाना सच्चे अर्थ में प्रेमचंद को अपने साथ सार्थक ढंग से लेकर चलने के समान है। उत्तर बंग विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग के सहायक प्राध्यापक डॉ. मनोज विश्वकर्मा ने बतौर मुख्य वक्ता कहा कि प्रेमचंद की प्रासंगिकता अंततः हमारी विफलता का पर्याय है। उनके किरदार नायकत्व से आगे सहज जीवन दिशा लिए हमारे जैसे आम संघर्षशील इंसान हैं जिन्हें पढ़ते हुए हम आज की चुनौतियों के बीच अपनी जिम्मेदारियों को भली-भांति सही दिशा में निभा सकते हैं। विशेष वक्ता के रूप में डॉ. राजेंद्र प्रसाद सिंह ने "दुनिया का सबसे अनमोल रत्न" कहानी के माध्यम से युवा प्रेम के राष्ट्रीय सरोकारों से अवगत कराया। डॉ. मुन्नालाल प्रसाद ने कफ़न कहानी के घिशु, माधव के आधार पर समाज की विसंगतियों के बीच मानवीय सरोकारों के प्रति समय को सचेत किया। शिक्षिका इंद्रजीत कौर ने प्रासंगिकता के प्रति सकारात्मक दृष्टि के लिए प्रेरित किया।

इस उपलक्ष्य में निबंध लेखन प्रतियोगिता, चित्रांकन प्रतियोगिता, प्रेमचंद की कहानियों पर आधारित आशु भाषण प्रतियोगिता, कहानियों पर आधारित स्वरचित काव्य पाठ प्रतियोगिता आदि के उत्कृष्ट प्रतियोगियों को पुरस्कृत भी किया गया। इस अवसर पर डॉ. राम प्रकाश श्रीवास्तव, देवेंद्र नाथ शुक्ल, डॉ. कल्पना सिंह, श्यामसुंदर शर्मा, पंकज कुमार झा, डॉ. श्याम सुंदर अग्रवाल, नेहा शाह, अंबुज कुमार राय, सोनम प्रसाद, दिनेश साव, रजनी भगत, सीता राउत, सुरेंद्र प्रसाद साह, देवाशीष राय, मधुमिता घोष, मधुरिमा पाल, अंकुश कुमार मिश्रा, अभिषेक श्रीवास्तव, उमेश गुप्ता, प्रेरणा यादव, ज्योति भट्ट, ब्यूटी सहगल, पंकज झा की उपस्थिति प्रतिभागियों एवं आयोजकों के लिए सराहनीय रही।

आयोजन को सफल बनाने में सक्रिय भूमिका छात्रों में निखिल कुमार साहनी, अंजलि सेठ, पल्लवी कुमारी, प्रीति सहनी, रोशनी सेठ, श्रीति कुमारी प्रसाद, प्रियंका साहा, पीहू महतो, अंशु गुप्ता, बिंदिया सिंह, सुमित कुमार, राहुल यादव, गीतांजलि राठौर, विक्की प्रसाद, रोहित बासफोर, छोटी कुमारी राय, रोहित बासफोर, काजल झा, ने निभाई। समारोह के समग्र प्रबंधन एवं कुशल संचालन की भूमिका में राजनंदनी राय, जानकी साहनी, निशु साहू, ज्योति श्रीवास्तव एवं शिक्षिका कुमारी रीता सिंह की महत्वपूर्ण भूमिका रही।

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