टीएमसी को रचना बनर्जी और शत्रुघ्न सिन्हा की टिप्पणियों पर आपत्ति

आलाकमान की तरफ से दी जा सकती है चेतावनी
TMC objects to Rachna Banerjee and Shatrughan Sinha's comments
mamta banerjee
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कोलकाता: टीएमसी पार्टी आलाकमान ने पहले ही पार्टी अनुशासन का उल्लंघन करने के आरोप में तीन तृणमूल नेताओं और विधायकों हुमायूं कबीर, नारायण गोस्वामी और मदन मित्रा को 'शो कॉज नोटिस' जारी की थी। सूत्रों के मुताबिक अब टीएमसी लोकसभा सांसद शत्रुघ्न सिन्हा और रचना बनर्जी की विवादित टिप्पणी से टीएमसी आलाकमान नाराज है। कई शीर्ष नेताओं को लगता है कि दोनों 'सेलिब्रिटी' ने जो कहा है, वह पार्टी लाइन के 'बाहर' है। पार्टी के शीर्ष नेताओं में से एक ने यह भी दावा किया कि वे व्यक्तिगत बयान हैं। सांसदों के ऐसे प्रतिगामी बयानों का पार्टी कतई समर्थन नहीं कर रही है। उन्हें ऐसी टिप्पणी करने से पहले सतर्क रहना चाहिए।

रचना-शत्रुघ्न की टिप्पणी से छिड़ गया है विवाद

दरअसल, कुंभ मेले में भगदड़ से हुई मौत को लेकर तृणमूल ने योगी आदित्यनाथ प्रशासन की आलोचना की है। खुद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की प्रतिक्रिया थी, उत्तर प्रदेश सरकार को गंगासागर मेले के प्रबंधन से सीखना चाहिए! लेकिन वहीं तृणमूल सांसद रचना बनर्जी ने महाकुंभ में स्नान के बाद कहा, 'अद्वितीय प्रबंधन' है, जिसे लेकर तृणमूल के संसदीय दल में चर्चा शुरू हो गयी है। वहीं, आसनसोल से तृणमूल सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने व्यावहारिक तौर पर बीजेपी की 'लाइन' पर बात की। उन्होंने मंगलवार को साफ कहा, पूरे देश में मांसाहारी भोजन पर प्रतिबंध लगना चाहिए! उन्होंने कहा, देश में सिर्फ बीफ ही नहीं, बल्कि सभी मांसाहारी भोजन पर प्रतिबंध लगाया जाना चाहिए। जो कानून उत्तर भारत में है वही पूरे देश में लागू होना चाहिए।

दोनों सांसदों की टिप्पणियों से पार्टी है नाखुश

रचना की टिप्पणियों के बारे में लोकसभा में तृणमूल के शीर्ष सांसद कल्याण बनर्जी ने कहा, 'व्यक्तिगत रूप से किसी ने क्या कहा, इससे कोई फर्क नहीं पड़ता। एक पार्टी के तौर पर हमें लगता है कि योगी सरकार के कुप्रबंधन के कारण कई लोगों की जानें गईं। उन्होंने मरने वालों की संख्या छिपाई, यहाँ तक कि बंगाल के तीर्थयात्रियों को 'मृत्यु प्रमाणपत्र' भी नहीं दिया। इसका हिसाब कौन देगा?' गौरतलब है कि शत्रुघ्न की पार्टी की सर्वोच्च नेता ममता बनर्जी ने बार-बार आरोप लगाया कि बीजेपी पहनावे, धर्म, खान-पान के जरिए लोगों पर 'नियंत्रण' स्थापित करना चाहती है। शत्रुघ्न का बयान उस बयान का खंडन करता है। हालांकि, लोकसभा में शत्रुघ्न के साथी कल्याण ने सीधे तौर पर कहा, क्या खाना है और क्या पहनना है, यह कोई और तय नहीं कर सकता। लेकिन सवाल यह है कि क्या पार्टी शत्रुघ्न-रचना से चर्चा करेगी या कोई कदम उठाएगी? तृणमूल कांग्रेस अभी उसी दिशा में आगे बढ़ रही है।

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