

कोलकाता : चुनाव आयोग ने पश्चिम बंगाल के 615 मतदाताओं को नये मतदाता पहचान पत्र जारी किये हैं, जिनके पुराने एपिक नंबर अन्य राज्यों के मतदाताओं से मेल खा रहे थे। यह मामला तब सामने आया जब मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने हाल ही में राज्य में फर्जी मतदाताओं और डुप्लीकेट मतदाता पहचान पत्र की समस्या को उजागर किया था। चुनाव आयोग के एक अधिकारी ने बताया कि बंगाल के जिन मतदाताओं के एपिक नंबर अन्य राज्य के एपिक नंबर से मेल खाते पाये गये, उनमें से अधिकांश के नंबर हरियाणा के मतदाताओं से मिलते-जुलते थे। कुछ मामलों में एपिक नंबर असम के मतदाताओं से भी मेल खा रहे थे। चुनाव आयोग ने इस सप्ताह की शुरुआत में एक विज्ञप्ति जारी कर कहा था कि ऐसे मामलों की संख्या बहुत ही कम है। औसतन हर चार मतदान केंद्रों में से एक में ऐसा मामला पाया गया। अधिकारी ने बताया कि संबंधित मतदाता वास्तविक थे, लेकिन किसी कारणवश उन्हें एक जैसे ऐपिक नंबर जारी कर दिये गये थे। इसीलिए चुनाव आयोग ने उनके पुराने कार्ड रद्द कर नये मतदाता पहचान पत्र जारी करने का निर्णय लिया। इसके अलावा, राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी कार्यालय ने ऐसे 7,800 मतदाताओं के नाम भी मतदाता सूची से हटा दिये हैं, जिनके नाम अन्य राज्यों की मतदाता सूचियों में भी दर्ज पाये गये थे। अधिकारी ने बताया कि इनमें से अधिकांश लोग स्थानांतरित हो चुके थे, जिसके चलते उनके नाम हटाये गये।