जगन्नाथ यात्रा के दौरान प्रशासन का साथ देंगे आईआईटी, आईआईएम के छात्र

गुजरात में भी एआई की लेंगे मदद
जगन्नाथ यात्रा के दौरान प्रशासन का साथ देंगे आईआईटी, आईआईएम के छात्र
-
Published on

नयी दिल्ली : देश के शीर्ष शिक्षण संस्थानों आईआईटी, आईआईएम और प्रमुख नीति व प्रबंधन संस्थानों के छात्र इस वर्ष की जगन्नाथ रथ यात्रा में ओडिशा के पुरी जिले में जमीनी स्तर पर प्रशासन के साथ मिलकर काम करेंगे।

पुरी जिला प्रशासन द्वारा शुरू की गयी ‘पब्लिक सिस्टम्स एंड इन्फ्रास्ट्रक्चर इंटर्नशिप’ के तहत ये छात्र जमीनी स्तर पर काम करेंगे और रथयात्रा के दौरान भीड़ प्रबंधन, सार्वजनिक बुनियादी ढांचे, आयोजन की योजना और विभिन्न एजेंसियों के बीच समन्वय जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं का अध्ययन करेंगे। पुरी के जिलाधिकारी सिद्धार्थ शंकर स्वाईं ने कहा, ‘जगन्नाथ पुरी रथयात्रा विशाल आयोजन, आस्था और प्रशासनिक समन्वय का उत्कृष्ट उदाहरण है। अब समय आ गया है कि देश के प्रतिभाशाली युवा राष्ट्र निर्माण की वास्तविकता को नजदीक से अनुभव करें।’ उन्होंने बताया कि 10 से 15 दिनों की इस इंटर्नशिप अवधि के दौरान चयनित विद्यार्थियों को स्वच्छता ढांचे, आपातकालीन प्रतिक्रिया प्रणाली, सेवा शिविर संचालन और डिजिटल नागरिक सहभागिता जैसे विषयों पर जमीनी स्तर की जिम्मेदारियां सौंपी जाएंगी। जगन्नाथ रथ यात्रा 27 जून, 2025 से शुरू हो कर 5 जुलाई, 2025 को संपन्न होगी।

गुजरात में पुलिस करेगी एआई प्रणाली का इस्तेमाल

गुजरात पुलिस इस वर्ष 27 जून को अहमदाबाद में निकलने वाली रथयात्रा के दौरान भगदड़ जैसी घटनाएं नहीं होने देने के लिए एक अत्याधुनिक कृत्रिम मेधा (एआई) आधारित निगरानी प्रणाली का इस्तेमाल करेगी। अहमदाबाद अपराध शाखा के सहायक पुलिस आयुक्त भरत पटेल ने बताया कि हाल में देश के कई हिस्सों में भीड़भाड़ के दौरान हुई घटनाओं, विशेष रूप से बेंगलुरु में भगदड़ की घटना से सबक लेते हुए पुलिस ने एआई आधारित निगरानी प्रणाली का इस्तेमाल करने का निर्णय लिया है। पुलिस के अनुसार, 27 जून को होने वाले इस भव्य आयोजन में 14 से 15 लाख लोगों के शामिल होने की उम्मीद है। पटेल ने कहा कि एआई प्रणाली के तहत पुलिस नियंत्रण कक्ष में ‘विजुअल एनालिटिक्स सॉफ्टवेयर’ यात्रा मार्ग पर तैनात सीसीटीवी कैमरों और ड्रोन से लाइव वीडियो फीड प्राप्त करेगा। उन्होंने बताया कि सॉफ्टवेयर को इस तरह से तैयार किया गया है कि वह लाइव वीडियो फीड का विश्लेषण कर किसी विशेष स्थान पर मौजूद लोगों की संख्या का अनुमान लगा सके और यह भी बता सके कि निकट भविष्य में वहां और कितने लोग पहुंच सकते हैं। पटेल ने बताया, ‘यह सॉफ्टवेयर लोगों की गिनती करेगा, उस जगह की अधिकतम क्षमता पता लगाएगा और वहां भीड़ बढ़ने की जानकारी पहले ही पुलिस को देगा। इससे मौके पर मौजूद पुलिस समय रहते कदम उठा सकेगी।’ बेंगलुरु के चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर 4 जून को मची भगदड़ में 11 लोगों की मौत हुई थी और 56 अन्य घायल हो गए थे। इस स्टेडियम में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (आरसीबी) टीम की इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में जीत के बाद आयोजित जश्न में भाग लेने के लिए बड़ी संख्या में लोग एकत्र हुए थे। पटेल ने कहा, ‘यह प्रणाली हमें समय पर प्रतिक्रिया देने, आवश्यकता पड़ने पर अतिरिक्त सुरक्षा बलों को वहां भेजने तथा जरूरत के आधार पर यातायात का मार्ग परिवर्तन करने में मदद करेगी।’ रथयात्रा 27 जून को सुबह करीब सात बजे जमालपुर इलाके में स्थित 400 साल पुराने भगवान जगन्नाथ मंदिर से शुरू होगी। यात्रा के 16 किलोमीटर के मार्ग के दौरान यह जमालपुर के विभिन्न इलाकों से गुजरेगी, जिसमें सांप्रदायिक रूप से संवेदनशील इलाके भी शामिल हैं। रात आठ बजे यात्रा मंदिर में वापस आ जाएगी। रथयात्रा में आमतौर पर 18 सजे-धजे हाथी, 100 ट्रक और 30 अखाड़े शामिल होते हैं। देवताओं की एक झलक पाने के लिए लाखों लोग मार्ग के दोनों ओर इकट्ठा होते हैं।

संबंधित समाचार

No stories found.

कोलकाता सिटी

No stories found.

खेल

No stories found.
logo
Sanmarg Hindi daily
sanmarg.in