उत्तरकाशी: उत्तराखंड के उत्तरकाशी में सिलक्यारा टनल में 41 मजदूरों 11 दिन से फंसे हैं। मजदूरों को जल्द और सुरक्षित बाहर निकालने के लिए युद्ध स्तर पर रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। भारतीय सेना के साथ-साथ विदेशों से भी एक्सपर्ट बुलाए गए हैं। मंगलवार को सुरंग के अंदर की वीडियो सामने आने आई जिसके बाद उनके सुरक्षित होने का पता चला। मजदूरों को 6 इंच के ‘लाइफ सपोर्ट’ पाइप के जरिए लगातार खाना, पानी और ऑक्सीजन भी पहुंचाया जा रहा है। इसी के जरिए बातचीत भी हो रही है।
800 एमएम के पाइप 60 मीटर तक पहुंचाना है
मजदूरों को निकालने के लिए सिलक्यारा की तरफ से सुरंग में 800 एमएम का पाइप डाला जा रहा है। जिससे मजदूरों को बाहर लाना है। इस पाइप को उसी भूस्खलन के बीच से गुजरना है जिसकी वजह से मजदूर अंदर फंसे हुए हैं। सूत्रों ने बताया है कि पाइप कुल 60 मीटर तक पहुंचाना है। जिसमें से 24 मीटर अंदर तक पाइप चला गया है और 36 मीटर जाना बाकी है। बता दें कि इसमें कल तक मजदूरों को निकाले जाने की संभावना है।
सुरंग में 470 मीटर निर्माण होना बाकी
अब तक इस टनल का लगभग 90 प्रतिशत लंबाई का काम पूरा हो चुका है और 470 मीटर निर्माण का काम बाकी है। मजदूर जहां फंसे हैं वो हिस्सा सिलक्यारा पोर्टल के ज्यादा पास है। पीएम नरेंद्र मोदी इस पूरे घटनाक्रम पर लगातार नजर बनाए हुए हैं और मुख्यमंत्री पुष्कर धामी से लगातार अपडेट ले रहे हैं। देशभर में मजदूरों के लिए प्रार्थना हो रही है और सबको बस इन श्रमिकों के जल्द और सुरक्षित बाहर निकलने का इंतजार है।
कब फंसे थे मजदूर ?
12 नवंबर की सुबह 5.30 बजे के आसपास मिट्टी का धंसाव हुआ था। उस वक्त मजदूर अंदर रिप्रोफाइलिंग का काम कर रहे थे। जिस क्षेत्र में श्रमिक फंसे हैं वो करीब 2075 मीटर का क्षेत्र है और इस हिस्से का निर्माण हो चुका है। जिसका मतलब है कि मजदूरों के पास अंदर काफी जगह है।