चांग्शा: सुबह के साढ़े सात बजे हैं। हुनान यूनिवर्सिटी के मुख्य परिसर में हवा में हल्की ठंडक है, लेकिन वातावरण में एक विशेष ऊर्जा महसूस होती है। छात्राएं अपनी लाल डायरी और पहचान-पत्र संभालती हुईं, डिपार्टमेंट बिल्डिंग की ओर तेज़ क़दमों से बढ़ रही हैं। आज यहाँ कुछ विशेष होने वाला है, यही वे क्षण हैं जिनका उन्होंने वर्षों से इंतज़ार किया था। ली ज़िनयुई, यांग मेई और चेन शुओ — ये तीन छात्राएं आज आधिकारिक रूप से चीन की कम्युनिस्ट पार्टी (सीसीपी) की सदस्य बन गई हैं। यह न केवल उनके शैक्षणिक जीवन का, बल्कि उनके सामाजिक व राजनीतिक सफ़र का भी अहम मोड़ है।
पार्टी की ओर बढ़ते क़दम
कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ़ चाइना में शामिल होना कोई साधारण बात नहीं है। इसके लिए लंबा और कठिन प्रशिक्षण होता है — वैचारिक समझ, सामाजिक सेवा, नेतृत्व क्षमता और पार्टी के प्रति निष्ठा की परीक्षा ली जाती है।
ली ज़िनयुई बताती हैं, “जब मैंने पहली बार पार्टी की गतिविधियों में भाग लिया, तो लगा कि यह सिर्फ़ राजनीति नहीं है — यह सेवा का एक माध्यम है। यूनिवर्सिटी के वॉलंटियर प्रोग्राम्स, ग्रामीण इलाक़ों में शिक्षा शिविर और महिला सशक्तिकरण से जुड़े कामों ने मुझे गहराई से प्रभावित किया।”
चयन प्रक्रिया: विचारधारा और कर्म दोनों की परीक्षा
सीसीपी की सदस्यता प्रक्रिया में छात्राओं को पहले 'पार्टी एप्लिकेंट' के रूप में आवेदन देना होता है। इसके बाद उन्हें "एक्टिविस्ट" और फिर "प्रोबेशनरी मेंबर" के रूप में पार्टी की गतिविधियों में भाग लेना होता है। अंतिम सदस्यता समारोह से पहले उनकी कई रिपोर्ट तैयार की जाती हैं — इनमें शिक्षकों की अनुशंसा, सहपाठियों की प्रतिक्रिया और सोशल वर्क की समीक्षा शामिल होती है।
हुनान यूनिवर्सिटी की पार्टी कमेटी की मेंबर प्रोफेसर झाओ ने बताया, “हम केवल अंकों या भाषणों से नहीं, बल्कि छात्राओं के व्यवहार और ज़मीन से जुड़े कार्यों के आधार पर निर्णय लेते हैं।”
महिला भागीदारी: पार्टी की नई प्राथमिकता
बीते एक दशक में सीसीपी ने उच्च शिक्षा में महिला प्रतिनिधित्व बढ़ाने और उन्हें नेतृत्व के अवसर देने की दिशा में कई पहलें की हैं। वर्ष 2020 के बाद से पार्टी की सदस्यता लेने वाली छात्राओं की संख्या में 25% की वृद्धि हुई है।
यांग मेई, जो इंजीनियरिंग की छात्रा हैं, कहती हैं, “जब मैंने देखा कि महिला सदस्य गाँवों में टेक्नोलॉजी ले जाकर बच्चों की पढ़ाई में मदद कर रही हैं, तो लगा कि यही असली परिवर्तन है — और मैं उसका हिस्सा बनना चाहती थी।”
चीन की नई तस्वीर, परिवर्तन की अग्रदूत
पार्टी सदस्य बनना केवल एक व्यक्तिगत उपलब्धि नहीं, बल्कि सामाजिक सम्मान का विषय भी है। चेन शुओ के पिता एक किसान हैं और माँ स्थानीय अस्पताल में नर्स। “मुझे आज भी याद है जब मैंने घर पर बताया कि मुझे पार्टी की सदस्यता मिली है — माँ की आँखें भर आईं,” वह कहती हैं। हुनान यूनिवर्सिटी की ये छात्राएं आज की चीन की नई तस्वीर हैं — पढ़ी-लिखी, विचारशील और सामाजिक रूप से सक्रिय। उनकी यात्रा यह दिखाती है कि कम्युनिस्ट पार्टी की नीतियों में अब महिलाओं को केवल भागीदार नहीं, बल्कि अग्रदूत के रूप में देखा जा रहा है।
उनकी यह लाल डायरी, जिसमें उन्होंने अपने अनुभव, चुनौतियाँ और सपने लिखे हैं — अब केवल निजी दस्तावेज़ नहीं रही। यह अब भविष्य की राजनीति की नई इबारत बन चुकी है।