Ravidas Jayanti 2024: क्यों मनाई जाती है संत रविदास जयंती, जानिए उनके बारे में विशेष बातें

Ravidas Jayanti 2024: क्यों मनाई जाती है संत रविदास जयंती, जानिए उनके बारे में विशेष बातें
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कोलकाता: कई महान संतों का जन्म भारत भूमि पर हुआ। जिसमें संत शिरोमणि गुरु रविदास जी का भी नाम शामिल है। संत गुरु रविदास जी महान संत थे, जिन्होंने प्रेम और सौहार्द का पाठ पढ़ाया। रविदास जी ने अपना संपूर्ण जीवन समाज से जाति भेदभाव को दूर करने और समाज सुधार व समाज कल्याण कार्यों में समर्पित कर दिया।

क्यों मनाई जाती है रविदास जयंती ?

प्रत्येक वर्ष माघ पूर्णिमा के दिन रविदास जी के सम्मान में इनके जन्मदिन को गुरु रविदास जयंती के रूप में मनाया जाता है। क्योंकि इन्होंने अपनी शिक्षाओं और उपदेशों से लोगों के जीवन को समृद्ध बनाया। इस साल गुरु रविदास जयंती आज 24 फरवरी यानी आज शनिवार को है।

रविदास जयंती का इतिहास 

रविदास जी को रैदास, रोहिदास और रूहिदास के नाम से भी जाना जाता है। संत गुरु रविदास का जन्म 1377 ई. में उत्तर प्रदेश के वाराणसी में हुआ था। हिंदू कैलेंडर के अनुसार, गुरु रविदास जी का जन्म माघ मास की पूर्णिमा तिथि को हुआ था। इसलिए हर साल माघ पूर्णिमा के दिन इनकी जयंती मनाई जाती है।

वैसे रविदास जी की जन्मतिथि को लेकर कई मत भी हैं। लेकिन रविदास जी की जन्म की तिथि को एक दोहा प्रचलित है, जिसके अनुसार-'चौदस सो तैंसीस कि माघ सुदी पन्दरास. दुखियों के कल्याण हित प्रगटे श्री गुरु रविदास'। इसका अर्थ है कि गुरु रविदास का जन्म माघ मास की पूर्णिमा को रविवार के दिन 1433 को हुआ था। इस वर्ष रविदास जयंती आज माघ पूर्णिमा के दिन 24 फरवरी 2024 को मनाई जा रही है।

संत रविदास भक्ति आंदोलन के एक भारतीय रहस्यवादी कवि और संत थे। इन्होंने जाति का भेदभाव मिटाकर लोगों को एकजुट करने के लिए प्रोत्साहित किया। रविदास जी की शिक्षाएं विशेषकर रविदासिया समुदाय को बहुत प्रभावित करती हैं और वे जाति, पंथ या लिंग की परवाह किए बगैर सभी लोगों की समानता में विश्वास करते हैं।

रविदास जयंती महत्व

हर साल संत रविदास जी के सम्मान में माघ मास की पूर्णिमा तिथि को रविदास जयंती मनाई जाती है। रविदासिया धर्म के लिए इस दिन का वार्षिक मौलिक महत्व है। भारत में रविदास जी की जयंती के इस विशेष अवसर को मनाने के लिए विभिन्न देशों से भी लोग आते हैं और भक्त अनुष्ठानों को पूरा करने के लिए पवित्र नदी में डुबकी लगाते हैं। साथ ही कीर्तन-भजन का भी आयोजन किया जाता है। इस दिन रविदास जी के जीवन से जुड़ी घटनाओं को उनके शिष्य याद करते हैं और उससे प्रेरणा लेते हैं।

संत रविदास कॉरिडोर का शुभारंभ

वाराणसी में 24 फरवरी को संत रविदास की 647 वीं जयंती पर पीएम मोदी संत रविदास कोरिडोर का शुभारंभ करेंगे। इस दौरान पीएम जहां 25 फिट ऊंची और 5 टन के कांस्य की मूर्ति का अनावरण करेंगे तो साथ ही संत रविदास की अनुयायियों को संबोधित भी करेंगे।

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