

कोलकाता : मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने गुरुवार को आरोप लगाया कि भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार ने अमेरिका, रूस, चीन और इजराइल जैसी विदेशी ताकतों के पैरों पर गिरकर भारत की प्रतिष्ठा को बेच दिया है। विधानसभा में चर्चा के दौरान उन्होंने केंद्र पर राष्ट्रहितों को अक्षुण्ण रखने में विफल रहने तथा वैश्विक मंच पर भारत की संप्रुभता के साथ समझौता करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि ‘ केंद्र कभी चीन के सामने तो कभी अमेरिका के सामने भीख मांग रहा है। अब वह रूस एवं इजराइल के पैरों पर गिर रहा है। ऐसा कर उसने भारत की प्रतिष्ठा को बेच दिया है।’ मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि भाजपा का देश के साथ विश्वासघात करने का इतिहास रहा है और उसे देशभक्ति या राष्ट्रीय एकता पर बोलने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है।
भाजपा धनबल, बाहुबल और एजेंसी का दुरुपयोग करती है
उन्होंने कहा, ‘भाजपा सबसे बड़ी चोर है। आप बंगाल, उसके लोगों, उसकी भाषा का अपमान करते हैं और फिर वोट की उम्मीद करते हैं? आप चुनाव जीतने के लिए धनबल, बाहुबल और निर्वाचन आयोग, सीबीआई और ईडी जैसी केंद्रीय एजेंसियों का दुरुपयोग करते हैं। आप वोट चुराते हैं। लेकिन बंगाल के लोग लोकतांत्रिक तरीके से जवाब देंगे।’उन्होंने कहा, ‘अगर मेरा गला भी काट दिया जाए, तो भी मैं बांग्ला में ही बोलूंगी। हम सभी भाषाओं का सम्मान करते हैं, लेकिन वे बांग्ला को बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं। बांग्ला कोई विदेशी भाषा नहीं है। यह एशिया में दूसरी सबसे ज़्यादा और दुनिया में पांचवीं सबसे ज़्यादा बोली जाने वाली भाषा है। जो लोग इसका अपमान करते हैं, वे न सिर्फ़ बांग्ला विरोधी हैं, बल्कि देशद्रोही भी हैं।’
इन विधायकों को किया गया सस्पेंड : सदन में हंगामा बढ़ने पर भाजपा विधायक शंकर घोष, अग्निमित्रा पॉल, मिहिर गोस्वामी, बंकिम घोष और अशोक डिंडा को निलंबित कर दिया गया। सदन में दोनों पक्षों के बीच तीखी बहस होने से माहौल गरमा गया। दोनों समूहों के बीच किसी भी तरह की हाथापाई को रोकने के लिए मार्शल मौजूद रहे। हताश ममता बनर्जी ने सवाल किया, ‘‘ भाजपा मुझे सदन में बोलने क्यों नहीं दे रही है? ’’ एक समय तो तृणमूल कांग्रेस के कई विधायक भाजपा की बेंचों की ओर बढ़ते देखे गए, जिसके बाद सुरक्षाकर्मियों ने तुरंत हस्तक्षेप किया। हंगामे के बावजूद अध्यक्ष बनर्जी ने सदन की कार्यवाही स्थगित नहीं की तथा निर्धारित कार्यवाही जारी रखने पर अडिग रहे। भाजपा विधायकों ने यह भी आरोप लगाया कि हंगामे के दौरान सत्ता पक्ष की ओर से उन पर पानी की बोतलें फेंकी गईं। मुख्यमंत्री ने भाजपा विधायकों पर बंगाली प्रवासी श्रमिकों की दुर्दशा पर गंभीर चर्चा को जानबूझकर विफल करने का आरोप लगाया।