
नदिया : सीमा प्रबंधन और सुरक्षा व्यवस्था को और अधिक सशक्त बनाने के उद्देश्य से बीएसएफ पूर्वी कमान, कोलकाता के अतिरिक्त महानिदेशक महेश कुमार अग्रवाल ने 10 से 12 जून तक नदिया, मुर्शिदाबाद और मालदह जिलों के सीमावर्ती क्षेत्रों का तीन दिवसीय व्यापक दौरा किया। उनके साथ दक्षिण बंगाल सीमांत मुख्यालय, कोलकाता के महानिरीक्षक अनीश प्रसाद, क्षेत्रीय मुख्यालय बेहरामपुर के उप महानिरीक्षक अनिल कुमार सिन्हा, क्षेत्रीय मुख्यालय मालदह के उप महानिरीक्षक मित्रभानु महापात्र सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उनके साथ रहे। महेश कुमार अग्रवाल ने 11वीं वाहिनी के अंतर्गत आने वाली सीमाचौकी शिकारपुर का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने सीमा प्रबंधन, ऑपरेशनल तैयारियों और गश्ती व्यवस्था की समीक्षा बैठक की। उन्होंने सीमाचौकियों मधुबना और जलंगी का निरीक्षण कर डोमिनेशन लाइन का जायजा लिया। दौरे के दूसरे दिन, महेश कुमार अग्रवाल ने 73वीं वाहिनी की नवनिर्मित सीमाचौकी काकमारीचर का उद्घाटन किया। एडीजी एवं आईजी ने अनीश प्रसाद और मित्रभानु महापात्र के साथ 71वीं वाहिनी की सीमाचौकी नीमतीता का दौरा कर बोट पेट्रोलिंग करते हुए नीमतीता, शिवपुर घाट और मंदिर घाट क्षेत्रों की सुरक्षा व्यवस्था का निरीक्षण किया। उन्होंने 119वीं वाहिनी के अंतर्गत बिना तारबंदी वाले क्षेत्र सबदलपुर का दौरा कर निगरानी और प्रभुत्व योजना की समीक्षा की।
एडीजी ने रात्रिकालीन गश्त और निगरानी व्यवस्था का भी गहन निरीक्षण किया। उन्होंने चुरियंतपुर सीमाचौकी का भी दौरा कर भारत-बांग्लादेश सीमा पर हाल ही में मरम्मत की गई आईबीबीएफ संरचनाओं के कार्यों का मूल्यांकन किया। अपने दौरे के अंतिम दिन 12 जून को महेश कुमार अग्रवाल ने सीमा सुरक्षा बल के सेक्टर मुख्यालय मालदह के अंतर्गत 119वीं वाहिनी की सीमाचौकी महदीपुर का निरीक्षण किया। दौरे के अंतिम चरण में उन्होंने ने 88वीं वाहिनी की सीमाचौकियों एच.सी.पुर और आर.के. वाधवा का निरीक्षण किया। अपने इस तीन दिवसीय दौरे के माध्यम से महेश कुमार अग्रवाल ने यह स्पष्ट संदेश दिया कि सीमा प्रबंधन और ऑपरेशनल तैयारियों को और अधिक सशक्त किया जाएगा और बल इस दिशा में निरंतर प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि सीमा पर तारबंदी और गश्ती व्यवस्था को और अधिक प्रभावी बनाकर तस्करी और घुसपैठ की हर साजिश को विफल करने हेतु सभी आवश्यक कदम उठाए जाएंगे। महेश कुमार अग्रवाल ने यह भी स्पष्ट किया कि सीमा की सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है और इस क्षेत्र में किसी भी प्रकार की लापरवाही को किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।