श्रीनगर : भगवान शिव के पवित्र दंड ‘छड़ी मुबारक’ को सदियों पुरानी परंपरा के अनुरूप 'हरियाली अमावस्या' (श्रावण अमावस्या) के अवसर पर विशेष पूजा-अर्चना के लिए गुरुवार को यहां ऐतिहासिक शंकराचार्य मंदिर ले जाया गया। महंत दीपेंद्र गिरि के नेतृत्व में छड़ी मुबारक को वार्षिक अमरनाथ यात्रा के तहत पूजा-अर्चना के लिए गोपाद्री पहाड़ियों पर स्थित मंदिर ले जाया गया। 'छड़ी मुबारक' के संरक्षक गिरि ने बताया कि 'छड़ी मुबारक' को यहां लाल चौक के निकट दशनामी अखाड़ा स्थित उसके निवास स्थान से मंदिर लाकर शंख की ध्वनि और वैदिक मंत्रोच्चार के बीच पूजन किया गया।
गिरि ने बताया कि 'छड़ी मुबारक' के साथ आए साधुओं ने भी पूजा में हिस्सा लिया और जम्मू कश्मीर की शांति और समृद्धि के लिए सामूहिक प्रार्थना भी की गई। शुक्रवार को 'छड़ी मुबारक' को यहां हरि पर्वत स्थित 'शारिका-भवानी' मंदिर भी ले जाया जाएगा। बताया गया कि रविवार को यहां श्री अमरेश्वर मंदिर दशनामी अखाड़ा में छड़ी स्थापना की रस्में निभाई जाएंगी, जिसके बाद मंगलवार को नागपंचमी के अवसर पर अखाड़े में छड़ी पूजन किया जाएगा।