निधि, सन्मार्ग संवाददाता
बनगांव : नौकरी दिलाने के झांसे में फंसाकर एक युवक के अपहरण और उसके परिवार से मोटी फिरौती मांगने का सनसनीखेज मामला सामने आया है। नदिया जिले के बनगांव पुलिस की त्वरित और सफल कार्रवाई के चलते, अपहृत युवक आलमगीर मुंशी को सुदूर कूचबिहार से सुरक्षित बरामद कर लिया गया है।
यह पूरी घटना पेट्रापोल थाना क्षेत्र के हरिदासपुर इलाके में घटी थी, जिसने स्थानीय लोगों को स्तब्ध कर दिया था। पीड़ित परिवार ने सोमवार को बनगांव थाने में लिखित शिकायत दर्ज कराई, जिसके तुरंत बाद पुलिस हरकत में आई और ऑपरेशन को सफलतापूर्वक अंजाम दिया।
परिवार द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के अनुसार, अपहरण की साजिश का मुख्य आरोपी सद्दाम मंडल है, जो बनगांव के भीड़ इलाके का निवासी है। आरोप है कि सद्दाम मंडल ने हरिदासपुर के आलमगीर मुंशी को अच्छे काम का लालच देकर उसे घर से बाहर बुलाया।
सद्दाम, आलमगीर को लेकर पहले सिलीगुड़ी गया। वहाँ उसने आलमगीर को सुमन बर्मन और सुजन बर्मन नामक दो अन्य व्यक्तियों के हवाले कर दिया। यह स्पष्ट है कि यह केवल काम दिलाने का बहाना नहीं था, बल्कि सुनियोजित ढंग से युवक को एक से दूसरे व्यक्ति को सौंपने की प्रक्रिया थी। इसके बाद, सुमन और सुजन बर्मन ने आलमगीर को कूचबिहार के निवासी एकरामुल हक को सौंप दिया।
कूचबिहार पहुँचने के बाद, एकरामुल हक ने आलमगीर को अपने मछली व्यवसाय में काम पर लगा दिया। कुछ दिनों बाद जब आलमगीर मुंशी ने अपने परिवार और घर लौटने की इच्छा व्यक्त की, तो गिरोह ने अपना असली मकसद जाहिर कर दिया। परिवार को धमकी भरे कॉल आने लगे और आलमगीर की रिहाई के बदले में 10 लाख रुपये की मोटी फिरौती की मांग की गई।
आलमगीर ने किसी तरह फोन पर इस गंभीर स्थिति की जानकारी अपने परिवार को दी। इसके बाद बिना समय गंवाए परिवार ने बनगांव थाने में लिखित शिकायत दर्ज कराई, जिसमें पूरी घटना और फिरौती की मांग का उल्लेख किया गया।
शिकायत मिलते ही बनगांव पुलिस सक्रिय हुई और विभिन्न कड़ियों को जोड़ते हुए कूचबिहार में ठिकाना खोज निकाला। पुलिस ने सफलतापूर्वक ऑपरेशन चलाकर अपहृत युवक आलमगीर मुंशी को सुरक्षित बरामद कर लिया है। पुलिस अब इस पूरे रैकेट में शामिल मुख्य अभियुक्त सद्दाम मंडल सहित अन्य आरोपियों - सुमन बर्मन, सुजन बर्मन और एकरामुल हक की तलाश में जुटी है।