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एनएच-4 एपीडब्ल्यूडी को सौंपने का प्रस्ताव

डिगलीपुर में अवसंरचना पर अहम बैठक, सड़क विकास पर जोर

सन्मार्ग संवाददाता

श्री विजयपुरम : उत्तर एवं मध्य अंडमान के अध्यक्ष श्रीवास दास की अध्यक्षता में हाल ही में डिगलीपुर में ठेकेदारों और जनप्रतिनिधियों की एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई। बैठक का मुख्य उद्देश्य स्थानीय सड़क अवसंरचना, राष्ट्रीय राजमार्ग-4 (एनएच-4) के रखरखाव और विकास कार्यों से जुड़े मुद्दों पर चर्चा करना था। इसमें स्थानीय ठेकेदारों, आम जनता और प्रशासनिक अधिकारियों ने भाग लिया।

बैठक में उठाए गए प्रमुख मुद्दे
बैठक में राष्ट्रीय राजमार्ग एवं अवसंरचना विकास निगम लिमिटेड (एनएचएआई) से जुड़े मुद्दों के साथ-साथ खनिज पदार्थों की उपलब्धता और उनके नियमन, समुद्री बालू की समस्या तथा निर्माण कार्यों में आने वाली प्रक्रियागत और लॉजिस्टिक बाधाओं पर विस्तार से विचार-विमर्श किया गया। उपस्थित ठेकेदारों ने कई ऐसे उदाहरण साझा किए, जिनमें परियोजनाओं के सुचारू क्रियान्वयन में देरी और कार्यों की गुणवत्ता प्रभावित हो रही थी।

स्थानीय समन्वय और सामग्री उपलब्धता पर जोर
बैठक में यह भी रेखांकित किया गया कि डिगलीपुर और आसपास के क्षेत्रों के समग्र विकास के लिए बेहतर समन्वय और निर्माण सामग्री की समय पर उपलब्धता बेहद आवश्यक है। इसके साथ ही सड़क अवसंरचना के प्रभावी रखरखाव और नियमित निरीक्षण पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता बताई गई।

एनएच-4 को एपीडब्ल्यूडी को सौंपने का प्रस्ताव
विस्तृत चर्चा और रचनात्मक विचार-विमर्श के बाद यह प्रस्ताव रखा गया कि राष्ट्रीय राजमार्ग-4 के निष्पादन और रखरखाव का कार्य अंडमान लोक निर्माण विभाग (APWD) को सौंपा जाए। इससे कार्यों की दक्षता में सुधार, स्थानीय स्तर पर निगरानी का बेहतर प्रबंध और अवसंरचना परियोजनाओं के सुचारू क्रियान्वयन की संभावना बढ़ेगी।

स्थानीय रोजगार और दीर्घकालिक लाभ
बैठक में यह भी कहा गया कि यदि एनएच-4 के प्रबंधन का कार्य एपीडब्ल्यूडी को सौंपा गया, तो स्थानीय बेरोजगार युवाओं को रोजगार के अवसर प्राप्त होंगे। इसके साथ ही यात्रियों और आम जनता को बेहतर सड़क सेवाएँ उपलब्ध कराई जा सकेंगी। अधिकारियों ने इस कदम को उत्तर एवं मध्य अंडमान में अवसंरचना प्रबंधन को सुदृढ़ करने की दिशा में महत्वपूर्ण माना।

भविष्य की योजना और कार्यान्वयन
अधिकारियों का मानना है कि यह निर्णय लंबी अवधि में क्षेत्रीय विकास को गति देगा और डिगलीपुर के ठेकेदारों, यात्रियों और आम जनता के लिए कई लाभकारी परिणाम सुनिश्चित करेगा। प्रस्तावित हस्तांतरण से परियोजनाओं की गुणवत्ता और समय पर पूरा होने की संभावना बढ़ेगी, जिससे स्थानीय प्रशासन और जनता दोनों को स्थायी लाभ मिलेगा।

इस प्रकार, डिगलीपुर में आयोजित बैठक ने एनएच-4 की प्रभावी देखरेख और क्षेत्रीय अवसंरचना के सुधार के लिए एक स्पष्ट दिशा निर्देश प्रदान किया है।

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