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दिव्यांग विद्यार्थियों के सपनों को मिलेगी नयी उड़ान

राज्य में दिव्यांगों के लिए पहला एक्सक्लूसिव कॉलेज, बारुईपुर में प्रस्तावित है कॉलेज की स्थापना, भूमि हो चुकी है चिन्हित

सबिता, सन्मार्ग संवाददाता

कोलकाता : दिव्यांग छात्रों की उच्च शिक्षा को सुलभ और समावेशी बनाने के लिए राज्य सरकार बड़ा कदम उठाने जा रही है। राज्य में पहला ऐसा कॉलेज तैयार होगा जो पूरी तरह से दिव्यांग छात्रों के लिए समर्पित होगा। यह कॉलेज दिव्यांग विद्यार्थियों की शैक्षणिक और व्यावसायिक जरूरतों को ध्यान में रखते हुए विशेष रूप से तैयार किया जाएगा। इसमें व्हीलचेयर के अनुकूल इमारतें, पाठ्य सामग्री, साइन लैंग्वेज में शिक्षण और विशेष रूप से प्रशिक्षित स्टाफ की व्यवस्था सहित कई सुविधाओं पर प्लानिंग की जा रही है। राज्य के जनशिक्षा प्रसार एवं ग्रंथागार परिसेवा विभाग मामलों के मंत्री सिद्दिकुल्ला चौधरी ने कहा कि दिव्यांग छात्रों के लिए कॉलेज तैयार होगा। इसके लिए सीएम ममता बनर्जी को पत्र भी दिया गया है। जमीन भी चिंह्ति की गयी है। सबकुछ ठीक रहा तो बारुईपुर में यह कॉलेज तैयार होगा। मंत्री ने कहा कि हमारा उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि दिव्यांग छात्र भी समान रूप से शिक्षा के अधिकार का लाभ उठा सकें। यह कॉलेज उनके आत्मनिर्भर भविष्य की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम होगा।

देश में अपनी तरह का पहला कॉलेज

यह देश में अपनी तरह का पहला कॉलेज होगा जो केवल दिव्यांग छात्रों के लिए समर्पित होगा। दिव्यांग विद्यार्थियों को समर्पित प्रस्तावित कॉलेज अपने आप में अहम कदम होगा। मंत्री का कहना है कि इस तरह का कॉलेज देश में पहला होगा।

अभी 12वीं तक शिक्षा है उपलब्ध

दिव्यांग और विशेष आवश्यकता वाले छात्रों के लिए विभाग द्वारा बारहवीं कक्षा तक की शिक्षा की सुविधाएं उपलब्ध हैं। मंत्री ने विधानसभा में कहा कि कई बार ऐसे छात्र आगे तक की पढ़ाई नहीं कर पाते हैं। अगर हम इन छात्रों के लिए एक समर्पित कॉलेज स्थापित कर सकें, तो देश भर में कई कंपनियां उन्हें रोजगार देने के लिए उत्सुक होंगी। देश भर में ऐसा कोई कॉलेज नहीं है जो इन छात्रों के लिए समर्पित हो, इसलिए बंगाल इस क्षेत्र में अग्रणी होने जा रहा है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को पत्र लिखकर इस तरह का कॉलेज स्थापित करने का अनुरोध किया है तथा विभाग इसके लिए ब्लू प्रिंट तैयार कर रहा है।

उच्चतर माध्यमिक स्तर तक इन छात्रों का प्रदर्शन उत्कृष्ट

जानकर हैरानी और खुशी भी होगी कि अन्य छात्रों के शिक्षा के तुलना में दिव्यांग छात्र भी अपनी मेहनत से बेहतर प्रदर्शन करते हैं। दसवीं बारहवीं में दिव्यांग छात्रों का प्रदर्शन उत्कृष्ट होता है। सिद्दिकुल्ला चौधरी ने कहा, उच्चतर माध्यमिक स्तर तक इन छात्रों का प्रदर्शन उत्कृष्ट है और कई मामलों में यह देखा गया है कि उनका प्रदर्शन सामान्य छात्रों से बेहतर है। 95% तक अंक आते हैं जो अपने आप उच्चतम है। इसलिए, उच्च शिक्षा उनके लिए अपनी आजीविका कमाने का एक साधन होगी।

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