म्यूचुअल फंड के जरिए 10 करोड़ लोगों ने 38 अरब रुपये का किया निवेश
कोलकाता : भारतीय पूंजी बाजार दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था कुछ ही वर्षों में बनने वाला है। भारत दुनिया का चौथा सबसे बड़ा शेयर बाजार होगा, जिसका बाजार पूंजीकरण लगभग 5 मिलियन डॉलर होगा। तब व्यवसायियों की क्षमता, कंपनियों की क्षमता, बचत करने वालों की क्षमता, बड़ी संख्या में लोगों द्वारा पैसा बचाने की क्षमता बढ़ेगी, जो आम तौर पर पूंजी बाजार में जाता है। आप इससे ही अंदाजा लगा सकते हैं कि भारतीय पूंजी बाजार में सिर्फ 10 करोड़ लोगों के पास से 38 अरब 5.5 करोड़ रुपये निवेश के लिए आये। यह बात भारत चैंबर ऑफ कॉमर्स के एक समारोह में एसोसिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड्स इन इंडिया (एएमएफआई) के चेयरमैन और एचडीएफसी एसेट मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड के प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी नवनीत मुनोत ने बतौर मुख्य अतिथि कही। भारत चैंबर ऑफ कॉमर्स ने शुक्रवार को 'अर्थव्यवस्था और बाजार: आगे की राह' पर एक विशेष सत्र का आयोजन किया था।
समारोह में मौजूद महानगर के दर्जनों उद्योगपतियों को संबोधित करते हुए नवनीत ने कहा कि व्यवसायियों को दीर्घकालिक पूंजी मिलती है और वे इस विकास को प्राप्त करते हैं। यही बात विकास चक्र को एक बहुत ही महत्वपूर्ण चक्र बनाती है। अगर एक तरफ उद्यमियों द्वारा विकास होता है, तो दूसरी तरफ पूँजी बाजार अपना काम खूबसूरती से करता है।
उन्होंने कहा कि यदि आप सार्वजनिक धन जुटा रहे हैं, तो आपके पास जिम्मेदारी की एक बड़ी भावना होनी चाहिए। आपको केवल एक चीज ध्यान में रखनी चाहिए कि यह किसी और का पैसा है। चाहे आप खाली पूंजी का उपयोग कर रहे हों, चाहे आप गहरी पूंजी का उपयोग कर रहे हों। चाहे आप किसी और के पैसे का कुछ भी उपयोग कर रहे हों वह विश्वास के आधार पर। हर ब्रोकर यही सोचता है कि मैं अपने क्लाइंट के साथ ऐसा कुछ नहीं करूं जिससे उसका विश्वास टूटे। निवेशकों का विश्वास बना रहेगा तभी बजार बचेगा।
उन्होंने कहा कि निवेशकों के पैसे सुरक्षित रखकर इस्तेमाल करने के लिए हम नीति निर्माताओं के साथ, बाजार नियामकों के साथ बहुत निकटता से काम करते हैं। हमारा मुख्य उद्देश्य निवेशक संरक्षण है। हम यह सुनिश्चित करने के लिए बहुत जुनूनी हैं कि लोग बाजार में लगाए अपने पैसे न खोएं क्योंकि, अगर लोग बाजार में पैसे खोते रहेंगे तो पूंजी बाजार नहीं बचेगा। इसलिए, हम उस पर बहुत अधिक ध्यान केंद्रित कर रहे हैं और हम सभी नियामकों और नीति निर्माताओं के साथ बहुत निकटता से काम कर रहे हैं ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि निवेशकों के अधिकार व पैसे सुरक्षित रहें। भारत चैंबर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष नरेश पचीसिया ने स्वागत भाषण दिया। चैंबर के वरिष्ठ उपाध्यक्ष रमेश अग्रवाल ने धन्यवाद ज्ञापन किया।