कोलकाता: बंगाल में सोमवार को एसआईआर की औपचारिक घोषणा होने के अगले दिन मंगलवार को पानीहाटी में एनआरसी के डर के कारण प्रदीप कर प्रदीप कर नामक व्यक्ति ने आत्महत्या कर ली। इस घटना के बाद समाज में एसआईआर को लेकर भय और चिंता का माहौल बन गया।
इस पर प्रतिक्रिया देते हुए तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी ने जनता को आश्वस्त किया कि किसी को डरने की आवश्यकता नहीं है। अभिषेक बनर्जी ने कहा, अनावश्यक रूप से डरने की जरूरत नहीं। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की सरकार पर भरोसा रखें। हम किसी भी वैध मतदाता का नाम हटने नहीं देंगे। हमारे लिए प्रत्येक जीवन अत्यंत मूल्यवान है।
उन्होंने यह भी कहा कि अगर लोग भयभीत महसूस कर रहे हैं तो स्थानीय तृणमूल कार्यकर्ताओं से संपर्क करें। पार्टी के सभी कार्यकर्ता आने वाले तीन महीने अलर्ट रहेंगे और सतर्कता के साथ लोगों के साथ खड़े रहेंगे। उन्होंने जोर देकर कहा, यदि दस करोड़ लोग एकजुट हैं, तो कोई भी ताकत उन्हें हटाने नहीं सकती।
अभिषेक ने यह भी कहा कि जरूरत पड़ने पर एसआईआर के दौरान वे खुद सड़क पर जाकर लोगों के साथ खड़े होंगे और किसी को भी वंचित नहीं होने देंगे। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि प्रदीप कर की मौत और इसके बाद भय का माहौल एसआईआर और नागरिकता से जुड़े मुद्दों को लेकर केंद्र और राज्य स्तर पर बहस को और तेज कर सकता है।
तृणमूल की यह घोषणा कि वह लोगों के अधिकारों की रक्षा के लिए पूरी तरह तैयार है, आनेवाले समय में राज्य की राजनीतिक गतिविधियों में बड़ी भूमिका निभा सकती है।