Chandrayaan 3: प्रोपल्शन मॉड्यूल (Propulsion Module) से अलग होकर विक्रम लैंडर अकेले आगे की दूरी तय कर रहा है। लैंडर मॉड्यूल की गति कम करने की प्रक्रिया को लेकर इसरो ने महत्वपूर्ण जानकारी दी है। शुक्रवार (18 अगस्त) को लैंडर अपनी गति को कम करने की प्रक्रिया से गुजरते हुए चंद्रमा की थोड़ी निचली कक्षा में सफलतापूर्वक उतर गया।
डीबूस्टिंग ऑपरेशन सफलतापूर्वक किया गया
ट्वीट कर इसरो ने जानकारी दी कि लैंडर मॉड्यूल की स्थिति अच्छी है। डीबूस्टिंग ऑपरेशन सफलतापूर्वक किया गया है। अगली बार 20 अगस्त 2023 को दूसरा डीबूस्टिंग ऑपरेशन किया जाएगा। अभी इसकी कक्षा 113 किमी x 157 किमी तक कम हो गई। वहीं 17 अगस्त को लैंडर प्रोपल्शन मॉड्यूल से सफलतापूर्वक अलग हुआ था। बता दें कि लैंडर मॉड्यूल में लैंडर और रोवर हैं। अभी करीब 100 किमी की दूरी विक्रम लैंडर को खुद तय करनी होगी। इस दौरान वह अपनी गति और ऊंचाई को कम करेगा।
चंद्रयान से ली गई चांद की वीडियो
इसरो ने ट्वीट किया कि चंद्रयान-3 के लैंडर इमेजर (एलआई) कैमरा-1 से 17 अगस्त 2023 को लैंडर मॉड्यूल के प्रोपल्शन मॉड्यूल से अलग होने के बाद चांद की तस्वीरें ली गईं। बता दें कि 14 जुलाई को लॉन्चिंग के बाद चंद्रयान-3 पांच अगस्त को चंद्रमा की कक्षा में प्रवेश किया था। इसरो की ओर से दी जानकारी के अनुसार 23 अगस्त लैंडर चांद पर उतरेगा।