मुंबईःउद्योग जगत से केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि वे साहसी बनें और समर्थन के लिए सरकार पर निर्भर रहने के बजाय प्रतिस्पर्धी बनने पर ध्यान दें। गोयल ने आईएमसी चैंबर ऑफ कॉमर्स द्वारा आयोजित कार्यक्रम में पूछा कि उद्योग कब तक सब्सिडी, उच्च आयात शुल्क और अन्य समान संरक्षणवादी उपायों की ‘‘बैसाखियों’’ पर निर्भर रहेगा। हम कब तक सरकार की ओर (समर्थन के लिए) देखते रहेंगे? या, कब तक हम सब्सिडी और समर्थन, प्रोत्साहन, उच्च आयात शुल्क, संरक्षणवादी मानसिकता और विश्व के साथ अपने संबंधों में अत्यधिक रक्षात्मक होने की बैसाखी पर जीत हासिल करते रहेंगे? हमें एक राष्ट्र के रूप में इस संरक्षणवादी मानसिकता और कमजोर सोच से बाहर निकलने का फैसला करना होगा।
उन्होंने आश्चर्य व्यक्त किया कि क्या माइकल पोर्टर का प्रतिस्पर्धात्मक लाभ पर किया मौलिक कार्य केवल तब तक प्रासंगिक है जब तक उद्योग के नेता व्यापार स्कूलों में हैं। उन्होंने कहा, जब तक हम प्रतिस्पर्धी नहीं बनेंगे, 140 करोड़ भारतीयों की आकांक्षाएं सफल नहीं होंगी और हम विकसित देश बनने का लक्ष्य हासिल नहीं कर पाएंगे।