नई दिल्ली: देश में हर साल 4 मार्च को राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाया जाता है। इस दिन का उद्देश्य है विभिन्न क्षेत्रों में सुरक्षा को लेकर जागरूकता फैलाना और सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाना है। इस दिवस पर अनेक कार्यक्रम आयोजित करवाए जाते हैं और लोगों को सुरक्षित रहने के लिए जागरूक किया जाता है। आपको बताते हैं राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस का महत्व और क्या है इस साल की थीम।
भारत सरकार के श्रम और रोजगार मंत्रालय ने 4 मार्च 1996 को एक स्व-वित्तपोषित गैर-शासी निकाय के रूप में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की स्थापना की। इसी क्रम में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की स्थापना की गई थी। राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की स्थापना के उपलक्ष्य में ही राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस की घोषणा की गई थी। साल 1972 से 4 मार्च का दिन हर साल राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के रूप में मनाया जाता है। इस साल इस दिवस की थीम है- “फोकस ऑन सेफ्टी लिडरशीप फोर ESG एक्सीलेंस।”
क्या है इस दिन का महत्व?
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस अभियान का उद्देश्य उद्योगों और अन्य संगठनों को सुरक्षा, अच्छे स्वास्थ्य और कल्याण को बढ़ावा देने में मदद करना है। इसके लिए भारतीय राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद ने राष्ट्रीय सुरक्षा पुरस्कारों की स्थापना की है जो हर साल वितरित किए जाते हैं। आइए जानते हैं इस दिन के प्रमुख उद्देश्य-:
- सुरक्षा, स्वास्थ्य और पर्यावरण (SHE) आंदोलन को देश के विभिन्न हिस्सों तक ले जाना।
- विभिन्न औद्योगिक क्षेत्रों में विभिन्न स्तरों पर प्रमुख खिलाड़ियों की भागीदारी प्राप्त करना।
- SHE गतिविधियों में अपने कर्मचारियों को शामिल करके नियोक्ताओं द्वारा सहभागी दृष्टिकोण के उपयोग को बढ़ावा देना।
- कार्य स्थलों पर आवश्यकता-आधारित गतिविधियों, वैधानिक आवश्यकताओं के स्व-अनुपालन और पेशेवर SHE प्रबंधन प्रणालियों के विकास को बढ़ावा देना।
- स्वैच्छिक SHE आंदोलन क्षेत्रों को इसके दायरे में लाना, जिन्हें अब तक वैधानिक रूप से कवर नहीं किया गया है।
- कार्यस्थल को सुरक्षित बनाने में नियोक्ताओं, कर्मचारियों और अन्य संबंधित लोगों को उनकी जिम्मेदारी की याद दिलाना।