बंगाल में दुष्कर्म-हत्या: महिलाओं का दृढ़ संदेश, “हमें न्याय चाहिए, लक्ष्मीर भंडार नहीं | Sanmarg

बंगाल में दुष्कर्म-हत्या: महिलाओं का दृढ़ संदेश, “हमें न्याय चाहिए, लक्ष्मीर भंडार नहीं

कोलकाता: पश्चिम बंगाल के कुलतली में 10 वर्षीय लड़की से दुष्कर्म और हत्या के मामले में स्थानीय महिलाओं ने गहरी निराशा व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि उन्हें राज्य सरकार की वित्तीय सहायता योजना ‘लक्ष्मीर भंडार’ की आवश्यकता नहीं है, बल्कि वे अपनी बच्ची के लिए न्याय चाहती हैं। दक्षिण 24 परगना के कुलतली में एक बरगद के पेड़ के नीचे इकट्ठा हुई महिलाओं ने देवी दुर्गा से अपनी सुरक्षा और बच्ची के लिए न्याय की प्रार्थना की। एक महिला ने कहा, “हमें लक्ष्मीर भंडार या कन्या श्री योजनाएं नहीं चाहिए। हम केवल अपने बच्चों की सुरक्षा चाहते हैं।” ‘लक्ष्मीर भंडार’ योजना के तहत सामान्य श्रेणी की महिलाओं को 1,000 रुपये और अनुसूचित जाति व जनजाति की महिलाओं को 1,200 रुपये का भत्ता दिया जाता है। लेकिन स्थानीय महिलाओं का मानना है कि यह वित्तीय सहायता उनकी सुरक्षा के लिए पर्याप्त नहीं है। एक अन्य महिला ने चिंता जताते हुए कहा, “महिलाओं की सुरक्षा कहां है? हमने पहले भी कई घटनाएं देखी हैं, और अब हम एक बच्ची को खो चुके हैं।” इस मामले में राज्य सरकार ने विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया है, जिसका नेतृत्व बरुईपुर के पुलिस अधीक्षक पलाश चंद्र धाली करेंगे। 5 अक्टूबर को हुई इस घटना के विरोध में पूरे प्रदेश में व्यापक प्रदर्शन हुए, जिसके दौरान स्थानीय लोगों ने वाहनों में आग लगा दी और एक पुलिस चौकी में तोड़फोड़ की। पुलिस ने इस मामले में एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है, लेकिन स्थानीय महिलाएं अब भी न्याय की मांग कर रही हैं।

 

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