नई दिल्ली: आज राष्ट्रीय किसान दिवस (2023) है। हर साल 23 दिसंबर को किसान दिवस मनाया जाता है। हमारा देश काफी हद तक खेती पर निर्भर है। किसान फसलों की पैदावार बढ़ाने के लिए मेहनत करते हैं। आधुनिक दौर में कृषि के महत्व को जानकर केंद्र सरकार किसानों को खेती के लिए नए-नए तकनीक का इस्तेमाल करने की सलाह देती है। किसानों को फसल उपजाने के लिए कम दामों पर लोन दिया जाता है। बाढ़-बारिश और सूखा के कारण किसानों को असुविधा का सामना करना पड़ता है। राष्ट्रीय किसान दिवस देश के हर किसान को समर्पित है। आपको बताते हैं कि राष्ट्रीय किसान दिवस मनाने की शुरुआत कब से हुई और इसे क्यों मनाया जाता है।
2001 में भारत सरकार ने किया ऐलान
राष्ट्रीय किसान दिवस देश के पूर्व पीएम चौधरी चरण सिंह की जयंती पर मनाया जाता है। चौधरी चरण सिंह ने 1979 से 1980 तक देश की सेवा की। अपने कार्यकाल के दौरान, उन्होंने किसानों की स्थिति में सुधार लाने का प्रयास किया। इसके साथ सशक्त बनाने के उद्देश्य से कई कल्याणकारी कार्यक्रम विकसित किए। 2001 में भारत सरकार ने चौधरी चरण सिंह के योगदान और उनके सम्मान में 23 दिसंबर को राष्ट्रीय किसान दिवस के रूप में मनाने का ऐलान किया।
क्या है इस दिन का महत्व ?
राष्ट्रीय किसान दिवस आमतौर पर देश के कृषि प्रधान राज्यों-उत्तर प्रदेश, हरियाणा, पंजाब और मध्य प्रदेश में मनाया जाता है। इस दिन देश के कई भागों में कार्यक्रम आयोजित होते हैं। यहां किसानों को अपनी जरूरतों और लक्ष्यों के बारे बात करने को लेकर मंच मिलता है। किसानों को फसलों का उत्पादन बढ़ाने के लिए कई तरह की सलाह और प्रोत्साहन दी जाती है।