कोलकाता : इस देश में उसके लिए भाषा सबसे बड़ी बाधा थी। इसलिए उस आदमी को तीन साल में भी कोई खास नौकरी नहीं मिल सकी। फिर भी वह विवाह करके कोलकाता का स्थायी निवासी बनना चाहता था। लेकिन गिरफ्तारी के बाद उसका कोलकाता में बसने का मोह भंग हो गया। जेल में बंद जलाल जसीम खासीम अब इस शहर में नहीं रहना चाहता है। वह जर्मन शरणार्थी मध्य पूर्व एशिया में मौजूद अपने देश बहरीन लौटना चाहता है। इसलिए पार्क स्ट्रीट थाने की पुलिस उसे उसके देश लौटाने की पहल कर रही है। इस मामले में पुलिस कोर्ट में अपील करेगी। उसका वकील उसकी वतन वापसी के लिए आवेदन करेंगे। अगर अदालत इजाजत देती है तो विदेश मंत्रालय की ओर से उन्हें बहरीन वापस ‘भेजने’ की व्यवस्था की जाएगी। पुलिस सूत्रों के अनुसार, बहरीन का जलाल जसीम खासिम एक पर्यटक की पहचान के साथ कोलकाता आया था। लेकिन वह इस शहर में रहना चाहता था। वह टेंगरा में किराये पर कमरा लेकर रहने लगा था। इसी बीच उसका वीजा भी खत्म हो गया। कोलकाता में वह अवैध तरीके से रह रहा था। शहर के कुछ दोस्तों ने उसे सलाह दी कि अगर वह कोलकाता की एक महिला से शादी कर लें तो वह कानूनी रूप से भारत का निवासी बन सकता हैं। इसके बाद व्यक्ति ने टेंगरा की एक महिला से शादी कर ली। हालाँकि, वह शादी टिक नहीं पाई। वह टूटी-फूटी अंग्रेजी तो बोल सकता है लेकिन बहरीन और कुछ जर्मन को छोड़कर कोई अन्य भाषा नहीं बोल सकता था। इसलिए तीन साल में उन्हें कोई खास काम नहीं मिल सका। गिरफ्तारी की खबर उसके घर पहुंचा दी गयी। इसके बाद बहरीन से उसके परिवार के सदस्यों और रिश्तेदारों ने जेल अधिकारियों के माध्यम से उससे संपर्क किया। उसने अपने वकील और परिवार के सदस्यों को भी सूचित किया कि वह किसी भी तरह घर लौटना चाहता हैं। अब उसे कोलकाता का मोह नहीं रहा। चूंकि उसके खिलाफ आरोप पत्र दायर किया जा चुका है, इसलिए पुलिस और उसके वकील उसके प्रत्यर्पण के लिए बैंकशाल कोर्ट में आवेदन भी कर सकते हैं। अगर कोर्ट इजाजत देता है तो निर्देश विदेश मंत्रालय को भेज दिया जाएगा।
रेस्तरां में बिल को लेकर विवाद होने पर पकड़ा गया था अभियुक्त
घटना की शुरुआत 10 मार्च 2024 को हुई। जलाल जसीम खासीम नामक 42 वर्षीय व्यक्ति पार्क स्ट्रीट इलाके के रेस्तरां में आया था। खाने के बाद बिल को लेकर उसकी रेस्तरां के अधिकारियों से बहस हो गई। सूचना मिलने के बाद पार्क स्ट्रीट थाने के पुलिस अधिकारी रेस्तरां में गये। शख्स के मुंह से टूटी-फूटी अंग्रेजी सुनकर पुलिस अधिकारियों को शक हुआ। उसकी तलाशी ली गई तो उसके पास से एक जर्मन शरणार्थी कार्ड बरामद हुआ। इसके बाद जसीम को पार्क स्ट्रीट पुलिस स्टेशन लाया गया जहां पुलिस को पता चला कि वह वास्तव में बहरीन का निवासी था। बहरीन से जर्मनी जाने के बाद उसे वहां शरणार्थी कार्ड मिला। जर्मनी में रहने के दौरान उसने भारत आने के सिए पासपोर्ट और पर्यटक वीजा एकत्रित किया था। वह जुलाई 2021 में कोलकाता आया था। लेकिन कोलकाता में रहने के दौरान ही उसका वीजा खत्म हो गया। इसके बाद वह भागने की तैयारी शुरू कर दिया। पार्क स्ट्रीट थाने की पुलिस ने कोलकाता में अवैध रूप से रहने के आरोप में विदेशी नागरिक को विदेशी अधिनियम के तहत गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने डेढ़ माह के भीतर ही उसके खिलाफ आरोप पत्र दाखिल कर दिया।