मृतका की मां ने कहा : पुलिस ने 3.5 घंटे बैठाकर रखा, पैरों पर गिरकर लगायी थी गुहार | Sanmarg

मृतका की मां ने कहा : पुलिस ने 3.5 घंटे बैठाकर रखा, पैरों पर गिरकर लगायी थी गुहार

पानीहाटी : आरजी कर अस्पताल में महिला डॉक्टर से बलात्कार व हत्या मामले की जांच सीबीआई कर रहा है और इस जांच पर मृतका के परिवारवालों का कहना है कि हम भरोसा रखकर चल रहे हैं हालांकि उन्होंने इंटर्न सहित किसी भी अभियुक्तों की लिस्ट सीबीआई को दी जाने की बात से इनकार किया। पीड़िता की मां ने कहा कि घटना के दिन पुलिस ने हमें काफी गुमराह किया। साढ़े 3 घंटे बैठाकर रखा गया, मेरी बेटी का शव जिस अवस्था में था मैंने उसी अवस्था में देखने को कहा था। पैरों पर गिरकर एक तरीके से गुहार लगायी थी मगर जांच का विषय बताकर हमें जाने नहीं दिया गया। उन्होंने दावा किया कि पहले दिन से ही हम यही कहते आ रहे हैं कि यह किसी एक का काम नहीं है बल्कि इसके पीछे भीतर के भी कुछ लोगों का हाथ है। वहीं अब मृतका के पिता ने पूर्वनियोजित हत्या होने की आशंका प्रकट की है। शनिवार को मीडिया के सवालों के जवाब में मृतका के पिता ने कहा कि ऐसा भी संभव है कि उनकी बेटी की हत्या कहीं और की गयी और शव को सेमिनार रूम में रख दिया गया। उन्होंने आशंका जतायी कि इस बात को ही दबाने के लिए कुछ लोगों द्वारा तोड़फोड़ कर सबूत मिटाने की कोशिश की गयी है। हम उनके खिलाफ भी सख्त कार्रवाई करने की मांग करते हैं। यहां तक कि उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि इसमें समस्त विभाग के विरुद्ध ही छानबीन की जानी चाहिए। उनका कहना है कि अगर कोई भी विभाग अलर्ट होता तो यह घटना घटती ही नहीं। मृतका के पिता का दावा है कि इसमें बड़ा नेटवर्क जुड़ा है। जरूर अस्पताल में कोई अवैध कार्य हो रहा है। अभिभावक ने कहा कि पुलिस की छानबीन में कुछ गड़बड़ी व लापरवाही को देख कर ही उन्होंने सीबीआई जांच की मांग की थी। पिता ने कहा कि बेटी ने मां से रात में बात करते हुए कहा था कि हम चार लोगों का खाना आ गया है, आप लोग भी खाना खाकर सो जाइये। पिता ने कहा कि मेरी बेटी सुबह 8:10 में हॉस्पिटल गयी थी, उसका ओपीडी था। ओपीडी से निकलते शाम के 6-7 बज जाता है। 5 बजे शाम को मां से बात हुई थी, फिर 11 बजे भी मगर जब अगले दिन उसकी मां बार-बार फोन कर रही थी, रिंग जा रहा था लेकिन वह फोन नहीं उठा रही थी। पीड़ित अभिभावक ने कहा ​कि 7 घंटों तक ऑन ड्यूटी मेरी बेटी को किसी ने नहीं खोजा, किसी को उसकी जरूरत नहीं पड़ी? कभी-कभी उसको दिन में खाना भी नहीं मिलता था। बेटी बोलती थी कि कभी तो ड्यूटी से खाने तक का समय नहीं मिलता था। उसे आरजी कर में जाना अच्छा नहीं लगता था।

 

Visited 112 times, 1 visit(s) today
शेयर करे
0
0

Leave a Reply

ऊपर