महाकुम्भ में स्नान करने जा रहे हैं, तो इसे जरूर पढ़े | Sanmarg

महाकुम्भ में स्नान करने जा रहे हैं, तो इसे जरूर पढ़े

प्रयागराज के रेलवे स्टेशनों पर कलर- कोडेड यात्री आश्रय

प्रयागराज : महाकुम्भ -2025 के अवसर पर प्रयागराज में लाखों श्रद्धालुओं के स्वागत और सुविधाजनक यात्रा सुनिश्चित करने के लिए रेलवे ने बड़े पैमाने पर तैयारियां की हैं। इस आयोजन के प्रमुख स्नान पर्व जैसे पौष पूर्णिमा (13 जनवरी 2025), मकर संक्रांति (14 जनवरी 2025), मौनी अमावस्या (29 जनवरी 2025), बसंत पंचमी (03 फरवरी 2025), माधी पूर्णिमा (12 फरवरी 2025), और महाशिवरात्रि (26 फरवरी 2025) पर संगम तट पर करोड़ों श्रद्धालुओं की उपस्थिति की संभावना है। रेलवे ने श्रद्धालुओं की सुविधाओं और उनकी यात्रा को सरल बनाने के लिए न केवल यात्री सुविधाओं में विस्तार किया है, बल्कि इसे जन-जन तक पहुंचाने के लिए व्यापक प्रचार-प्रसार भी किया जा रहा है।
प्रयागराज जंक्शन पर कलर कोडिंग व्यवस्था
महाकुम्भ-2025 में यात्रा को सुगम बनाने के लिए प्रयागराज जंक्शन पर कलर कोडिंग आधारित यात्री आश्रय बनाए गए हैं।
● लाल आश्रय (गेट 1): लखनऊ और वाराणसी की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
● नीला आश्रय (गेट 2): पंडित दीनदयाल उपाध्याय (मुगलसराय) की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
● पीला आश्रय(गेट 3): मानिकपुर, सतना और झांसी की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
● हरा आश्रय (गेट 4): कानपुर की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
● सभी दिशाओं के आरक्षित टिकट वाले यात्रियों के लिए अलग आश्रय स्थल की व्यवस्था रहेगी।
नैनी जं. पर कलर कोडिंग व्यवस्था
हरा आश्रय (गेट 1) – कानपुर की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
नीला आश्रय (गेट 1 ) – मानिकपुर-झाँसी की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
लाल आश्रय (गेट 1)- मानिकपुर-सतना की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
पीला आश्रय (गेट 3 व 4) – मुगलसराय की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
प्रयागराज छिवकी पर कलर कोडिंग व्यवस्था
लाल आश्रय(गेट 1ए ) – मानिकपुर,सतना,झाँसी की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
हरा आश्रय (गेट 1बी ) -मुगलसराय की ओर यात्रा करने वाले यात्रीयों के लिए
सूबेदारगंज रेलवे स्टेशन पर 2 यात्री आश्रयों का निर्माण किया गया है ।
प्रयागराज में भारतीय रेलवे द्वारा किए गए इन विशेष प्रयासों से न केवल यात्रियों की यात्रा को आसान और आरामदायक बनाया गया है, बल्कि यह सुनिश्चित किया गया है कि मुख्य स्नान दिवसों पर श्रद्धालु अपने गंतव्य तक सुरक्षित और समय पर पहुँच सकें।

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