दोषी छात्र नहीं जुड़ सकेंगे कॉलेज फेस्ट 'प्लाज्मा-2025' से

- उत्तरबंग मेडिकल कॉलेज में रैगिंग का मामला सामने आने के 24 घंटे के भीतर कॉलेज प्रशासन ने उठाया सख्त कदम
File photo of North Bengal Medical College and Hospital -
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सन्मार्ग संवाददाता

सिलीगुड़ी : उत्तर बंगाल मेडिकल कॉलेज में रैगिंग के गंभीर आरोप सामने आने के बाद कॉलेज प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई करते हुए दोषी छात्रों को आगामी कॉलेज फेस्ट 'प्लाज्मा-2025' से पूरी तरह बाहर करने का निर्णय लिया है। मंगलवार को आयोजित एंटी-रैगिंग कमिटी की एक लंबी बैठक में यह अहम फैसला लिया गया। साथ ही आरोपियों की कड़ी निगरानी करने और आरोपों की सच्चाई की जांच करने की बात भी कही गई है।

कॉलेज फेस्ट 'प्लाज्मा-2025', जो 18 और 19 अक्टूबर को आयोजित होना है, उसी को लेकर विवाद की शुरुआत हुई। सोमवार को प्रथम वर्ष के कई छात्र-छात्राओं ने डीन डॉ. अनुपम नाथ गुप्ता को एक लिखित शिकायत सौंपी जिसमें उन्होंने रैगिंग और धमकी भरे माहौल की जानकारी दी।

शिकायत थी कि हॉस्टल में रात 12 बजे से पहले लाइट या दरवाजा बंद करने की अनुमति नहीं दी जा रही थी। सीनियर छात्र उन्हें एक विशेष कमरे में बुलाकर आपत्तिजनक हाव-भाव और संवाद दोहराने के लिए मजबूर कर रहे थे। फेस्ट की सजावट के नाम पर देर रात तक जबरन काम कराया जा रहा था। छात्राओं के नाम और फोन नंबर लेकर उन्हें मानसिक रूप से प्रताड़ित किया जा रहा था। इस घटना के उजागर होते ही कॉलेज प्रशासन पर दबाव बढ़ गया, विशेषकर क्योंकि यह मामला मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के उत्तरबंग दौरे के दौरान सामने आया।

शिकायत मिलने के 24 घंटे के भीतर ही डीन ने यह मामला कॉलेज प्रिंसिपल डॉ. संजय मल्लिक के संज्ञान में लाया, जिन्होंने तुरंत प्लाज्मा आयोजन समिति से जुड़े शिक्षकों के साथ बैठक की। इसमें यह फैसला हुआ कि: प्लाज्मा के आयोजन के लिए किसी भी छात्र से जबरन चंदा नहीं लिया जाएगा। रैगिंग के आरोपियों को किसी भी हाल में आयोजन समिति में शामिल नहीं किया जाएगा। इसके बाद मंगलवार को दोपहर 12 बजे से शाम 5 बजे तक एंटी-रैगिंग कमिटी की लंबी बैठक हुई। इस बैठक में करीब 20 छात्रों को बुलाकर दोनों पक्षों की बात सुनी गई। सूत्रों के अनुसार, कई आरोपियों ने अपने ऊपर लगे आरोपों को स्वीकार भी किया है।

मुख्य फैसले

जिन छात्रों पर रैगिंग के आरोप हैं, उन्हें प्लाज्मा आयोजन समिति से तत्काल हटाया जाएगा। ले ही वे समिति में न हों, लेकिन वे फेस्ट की किसी भी गतिविधि से नहीं जुड़ पाएंगे। उन पर निगरानी रखी जाएगी और आरोपों की सच्चाई की जांच की जाएगी।जबरन चंदा वसूली या धमकी देने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

क्या बोले अधिकारी?

डॉ. संजय मल्लिक ने कहा कि एंटी-रैगिंग कमिटी ने विस्तृत बैठक की है और जल्द ही अपनी रिपोर्ट सौंपेगी, जिसके आधार पर अगला कदम तय किया जाएगा।अमित सरकार, जो कि एंटी-रैगिंग कमिटी के सदस्य और दार्जिलिंग जिला लीगल एड फोरम के प्रतिनिधि हैं, ने बताया कि दोषियों की पहचान हो चुकी है और कुछ ने आरोप भी स्वीकार किए हैं।

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