
वार्ड नंबर 70
सोनू ओझा
कोलकाता : पहली जीत भाजपा के टिकट से मिली, फिर तृणमूल में शामिल हो गये। इस बार तृणमूल के टिकट पर चुनाव लड़ रहे हैं असीम बोस। असीम ने सिर्फ पार्टी बदली है, वार्ड नंबर 70 उनका पुराना ही है, जहां अपनी जीत को लेकर वह पूरी तरह आश्वस्त हैं। कैसी चल रही है असीम बोस की चुनावी तैयारी, उस बारे में सन्मार्ग ने बात की उनसे, पेश हैं उनके साथ हुई बातचीत के प्रमुख अंश :
* भाजपा के टिकट से जीते थे, अब तृणमूल का टिकट मिला, यह बदलाव क्या असर कर रहा है ?
सच है भाजपा के टिकट पर जीता था, बाद में तृणमूल में शामिल हुआ। सच यह भी है कि लोगों के लिए मैंने काम किया है। जब उन्हें मेरी जरूरत पड़ी, मैं गया मैंने घड़ी नहीं देखी। रही बात भाजपा पार्टी की तो मैंने 8 महीने के लिए पार्टी की, उसके बाद तृणमूल से जुड़ गया। पार्टी का झण्डा बदला है मैं नहीं बदला हूं। मैं भूमिपुत्र हूं इसका अंदाजा मुझे डोर टू डोर में भी चल रहा है। लोग कह रहे हैं आने की जरूरत ही नहीं है, हम तुम्हारे साथ हैं। इससे बड़ा आशीर्वाद मेरे लिए कुछ और नहीं हाे सकता है।
* जनता के पास किन मुद्दों को लेकर जा रहे हैं ?
वार्ड में मैंने कोशिश की है कोई समस्या न हो। अब जनता जो बोलेगी उनकी समस्या दूर करना मेरा काम है।
* वार्ड की किन समस्याओं से सामना कर रहे हैं वोटर ?
यहां निकासी की समस्या है। पहले जलजमाव दो-तीन दिनों तक रहता था, जो अब आधा हो गया है। मेरी चेष्टा होगी कि इस समस्या को पूरी तरह खत्म किया जाए।
* जीते तो वार्ड की प्राथमिकताएं क्या होंगी ?
यह सिर्फ मेरा वार्ड नहीं है, मेरा परिवार है। हर घर मुझे जानता है, मेरे काम से वाकिफ है। मेरी प्राथमिकता होगी कि सरकारी जितनी योजनाएं हैं उसका लाभ हर घर तक पहुंचा सकूं।