Kolkata News: 25 सालों में 2 से 4 फीट तक ऊंची हो गयी हैं महानगर की सड़कें | Sanmarg

Kolkata News: 25 सालों में 2 से 4 फीट तक ऊंची हो गयी हैं महानगर की सड़कें

कोलकाता : इन दिनों बारिश के मौसम में जलजमाव और सड़क दुर्घटनाओं की सबसे बड़ी वजह पिचिंग के कारण ऊंची हुईं सड़कें हैं। महानगर के हर सड़कों की लगभग यही कहानी है। इसे जल्दबाजी कहें या रुपयों की बचत, लेकिन ऐसी सड़कें कई घटनाओं में लोगों की मौत की वजह भी बन रही हैं। एक आंकड़े के मुताबिक हर साल पिचिंग के कारण महानगर की सड़कें 2 इंच ऊंची होती जा रही हैं। इसके मुताबिक 25 सालों में सड़केें लगभग 50 इंच ऊंची हो गयी हैं। सड़कों पर पैचिंग का काम कुछ इस तरह हुआ है कि सड़कें ऊंची-नीची हो गयी हैं, जिससे खतरा अधिक बढ़ गया है। दुर्घटनाओं के साथ ही बारिश के दौरान इनसे लोगों के घरों में पानी भी भर जा रहा है। मालूम हो कि आज से 25 साल पहले जिन लोगों ने अपने घरों को सड़कों के ​हिसाब से बनाया था, आज वह सड़कों की पिचिंग के कारण बढ़ी ऊंचाई से नीचे हो गये हैं, जिस कारण बारिश के दौरान पानी उनके घरों में घुस जा रहा है। वहीं यही हाल महानगर के फुटपाथ का भी हो गया है।

पैचिंग के कारण ऊंची हुईं सड़कें दे रही दुर्घटनाओं काे दावत

वहीं वाहन चालकों का कहना है कि सड़कों के गड्ढों को भरने के लिए कई जगहों पर पैचिंग का काम किया गया है, लेकिन इससे मुसीबतें और बढ़ गयी हैं। पैचिंग का काम कुछ इस तरह हुआ है कि सड़कें ऊंची-नीची हो गयी हैं जिससे खतरा अधिक बढ़ गया है। अचानक ब्रेक लगाने पर या फिर गाड़ी थोड़ी स्पीड में होने पर अधिक मुश्किलें हो जाती हैं।

यह कहना है निगम अधिकारी का 

निगम के रोड विभाग के अधिकारी ने कहा कि सड़कों पर गड्ढा होने के कारण उसे काटकर उसपर पिचिंग का काम किया जाता है तो सड़कें थोड़ी ऊंची नीची हो जाती हैं। निगम द्वारा इसपर भी काम किया जा रहा है। स्ट्रैंड रोड, रवीन्द्र सरणी समेत अन्य कुछेक सड़कों को बाराबर करने का काम किया गया है। अभी बारिश के कारण काम नहीं हो रहा है पर दुर्गापूजा तक ज्यादा से ज्यादा सड़कों को बाराबर कर दिया जायेगा।

ऐसे ही कुछ सड़कों का सन्मार्ग की टीम ने सर्वे किया। मोहम्मद अली पार्क के पास रहने वाले मो. इस्लाम ने बताया कि वे यहां करीब 10 सालों से रह रहे हैं। उन्होंने बताया कि यहां फुटपाथ पर स्थित यह चबूतरा पहले इतना ऊंचा हुआ करता था कि हम आराम से पैर नीचे लटकाकर बैठ सकते थे पर समय के साथ सड़काें और फुटपाथ की ऊंचाई बढ़ने के कारण चबूतरे की ऊंचाई कम हो गयी है। अब ऐसा लग रहा है कि आने वाले कुछ सालों में यह भी नहीं बेचगा। वहीं लेकटाउन के सड़क किनारे रहने वाले अन्य लोगों और दुकानादारों ने कहा कि उन्होंने आज से 20 से 30 साल पहले अपने दुकानों को सड़कों से ऊंचा बनाया था पर आज सड़कें पिचिंग के कारण हमारे दुकानों के बाराबर या यूं कहें कि उससे ऊंची हो गयी हैं। ऐसे में बारिश के मौसम में पानी सड़कों पर कम और हमारे दुकानों में अधिक भर जा रहा है। वहीं राममंदिर के पास भी देखा गया कि फुटपाथ​ स्थित दुकान सड़कों से नीचे हो गयी है, जिस कारण बारिश का पानी सड़कों पर बाद में पहले दुकान में लग जा रहा है।

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