
कोलकाता: थायरॉइड गर्दन के निचले हिस्से में स्थित है जो एक तितली के आकार की ग्रंथि है। यह थायरॉइड हार्मोन का उत्पादन करता है, जो हमारे शरीर के कार्य में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। पर थायरॉइड हार्मोन के बढ़ने की वजह से बॉडी में कई दिक्कतें होने लगती हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं पुरुषों की तुलना में महिलाओं को थायरॉइड की समस्या 5 से 8 फीसदी ज्यादा होती है। हेल्थ एक्सपर्ट्स के अनुसार थायरॉइड डिस्फंक्शन का इलाज करना आसान नहीं है।
लेकिन महिलाओं में क्या है थायरॉइड हार्मोन के बढ़ने की वजह?
महिलाओं में एस्ट्रोजन हार्मोन ज्यादा होता है। एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरॉन के स्तर में उतार-चढ़ाव के कारण हार्मोनल प्रभावों में भी काफी बदलाव आता है जो थायरॉइड के फंक्शन पर भी बुरा असर डाल सकते हैं।
तनाव भी एक वजह
ज्यादातर महिलाएं अपनी भावनाओं को खुलकर व्यक्त करने के बजाय उन्हें दबा कर रखती हैं। इससे उनका आंतरिक तनाव बढ़ जाता है जिससे कॉर्टिसोल का स्तर बढ़ सकता है और थायरॉइड की समस्या पैदा हो सकती है। हालांकि, कुछ लोग इस बात पर ज्यादा विश्वास नहीं करते हैं।
प्रेग्नेंसी भी कारण
महिलाओं को प्रेग्नेंसी के कारण शरीर पर काफी तनाव पड़ता है। इसके साथ ही थायरॉइड हार्मोन पर भी इसका असर देखने को भी मिलता है। कई महिलाओं गर्भावस्था के बाद बहुत सारी महिलाओं में थायरॉइड की समस्या पैदा हो जाती है। इसके अलावा, ऐसे कई ब्यूटी केयर प्रोडक्ट्स का इस्तेमाल करती हैं, जिनमें तमाम तरह के केमिकल्स होते हैं। ये चीजें इंडोक्राइन में काफी दिक्कत पैदा करती हैं जिसके कारण थायरॉइड का खतरा रहता है।
थायरॉइड को कैसे करें कंट्रोल
डेयरी प्रोडक्ट से बचें: हाइपर थायराइड से पीड़ित लोगों को थायरइड हार्मोस बढ़ाने वाले फूड्स का सेवन नहीं करना चाहिए। इसके लिए आप दूध, डेयरी, प्रोडक्ट, पनीर, आयोडीन युक्त नमक आदि का सेवन करने से बचना चाहिए।