दुर्गापूजा : न ढाक की आवाज न गानों का शोर

यहां काले पंडाल में सुनायी दे रहा मां का रुदन
चुनावी हिंसा को बनाया गया थीम
सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : कोलकाता की दुर्गापूजा माने अनूठी और आकर्षक थीम से तैयार पंडालों की कतार, जहां पूजा कमेटियों की कोशिश होती है कि उनका पंडाल सबसे अलग हो। इसी कड़ी में इस बार लोगों को कोलकाता में ऐसा ही पंडाल दिखने वाला है जो न थीम में अलग है बल्कि दुर्गापूजा की मान्यताओं ढाक और संगीत से भी​ इतर है। यह पंडाल है श्री श्री सरस्वती और कालीमाता समिति का जिसकी थीम में चुनाव बाद हिंसा को दिखाने की कोशिश की गयी है।
थीम
‘मायेदेर कान्ना, रक्ताक्त बंगाल’ यानी माँ का रुदन और रक्तरंजित बंगाल
खासियत
पंडाल में न ढाक की थाप है न गानों का शोर बल्कि काले रंग में बने पंडाल में मां का रुदन सुनायी दे रहा है।
भाजपा कार्यकर्ता अभिजीत सरकार को समर्पित
यह पूजा भाजपा के कार्यकर्ता अभिजीत सरकार द्वारा चालू की गयी थी। 2021 में चुनाव के दौरान अभिजीत की हत्या कर दी गयी थी। अब पूजा की जिम्मेदारी उनके भाई विश्वजीत संभाल रहे हैं। उन्होंने बताया कि चुनावी हिंसा में जिन कार्यकर्ताओं की ‘हत्या’ हुई थी, यह पंडाल उन्हें समर्पित है। उन्होंने बताया कि दुर्गापूजा में हर घर में खुशी है लेकिन जिन 60 लोगों की मौत हो चुकी है उनके घर पर मातम है, यह स्थिति यहां दिखाने की कोशिश की गयी है।

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