कोलकाता : पश्चिम बंगाल में भारत बायोटेक की कोवैक्सीन का क्लीनिकल ट्रायल आज से शुरू हो रहा है। इसके लिए कोलकाता में एक हजार वैक्सीन भेजी गई हैं। बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने आईसीएमआर-एनआईसीईडी में कोवैक्सीन के तीसरे चरण के परीक्षण की बुधवार को शुरुआत की। उन्होंने कोविड-19 महामारी से प्रभावी तरीके से निपटने के लिए देश के नेतृत्व की सराहना की। धनखड़ ने कहा कि देश में विकसित किए जा रहे टीके के तीसरे चरण के परीक्षण के लिए देश के 24 केंद्रों में एनआईसीईडी को भी चुना गया है और भरोसा जताया कि सुगमता से यह प्रक्रिया पूरी होगी। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि ‘‘(महामारी से निटपने में) भारत ने सराहनीय काम किया है। इसका पूरा श्रेय देश के दूरद्रष्टा नेतृत्व को जाता है।’’ राज्यपाल ने कहा कि केंद्र की आयुष्मान भारत योजना संकट के बीच लोगों के लिए लाभदायक साबित हुई है। इस योजना के जरिए निशुल्क स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया करायी जाती हैं। उल्लेखनीय है कि पश्चिम बंगाल में इस योजना को अब तक लागू नहीं किया गया है।
फिरहाद हाकिम लेंगे पहला डोज
बताया जा रहा है कि मेयर और शहरी विकास मंत्री फिरहाद हकिम वालंटियर के रूप में आज पहला डोज लेंगे। डॉक्टरों का कहना है कि फिरहाद हकिम स्वास्थ्य संबंधी बाकी मापदंडों से पूरी तरह से फिट हैं, इसलिए वह इस वैक्सीन को स्वयंसेवक के रूप में ले सकते हैं। हकीम ने कहा है कि वह नेशनल इंस्टीट्यूट फॉर कॉलरा एंड इंटेरिक डीसीसेस में दोपहर चार बजे टीका लगवाएगा।
18 साल या उससे ऊपर लोगों को दी जाएगी वैक्सीन
मालूम हो कि इस वैक्सीन को भारत बायोटेक ने इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) के सहयोग से तैयार किया है। कोवैक्सीन की यह खुराक 18 साल या उससे ऊपर के करीब 28,500 लोगों को दी जाएगी, जिसकी जांच 10 राज्यों में 25 जगहों पर किया जाएगा। इस वैक्सीन की जांच पहले ही कुछ जगहों पर शुरू की जा चुकी है। कोवैक्सीन के पहले व दूसरे चरण की जांच का डेटा ड्रग कंट्रोलर को पहले ही सौंपा जा चुका है। हैदराबाद स्थित इस कंपनी ने तीसरे चरण की जांच के लिए आवेदन देते हुए कहा था कि इसकी खुराक सभी आयु वर्ग के लोगों में बेहतर नतीजे दिखाए हैं और किसी तरह की कोई नुकसान की खबर नहीं आई है।