मेयर ने कहा, जल्द राज्य सरकार को देंगे प्रस्ताव
अवैध निर्माण पर बोले, बनाने वालों को भेजा जाएगा जेल
सोनू ओझा/सिंकी सिंह
कोलकाता : कोलकाता नगर निगम के लिये खतरनाक मकान हमेशा से ही सिददर्द बने हुए हैं। ऐसे में कोलकाता नगर निगम की ओर से जल्द ही खतरनाक मकानों की दशा सुधारने के लिये नया कानून लाने पर विचार किया जा रहा है। कोलकाता नगर निगम के मेयर फिरहाद हकीम ने कहा कि खतरनाक मकानों की दशा सुधारने के लिये जल्द ही राज्य सरकार को प्रस्ताव भेजा जाएगा, जिसके तहत खतरनाक मकानों को तोड़ कर पुन: निर्माण करने का अधिकार निगम को मिल सके। साथ ही उसमें रहने वाले लोगों को दूसरी जगह रहने की व्यवस्था करके फिर खतरनाक मकानों को तोड़ने का कार्य किया जाएगा, लेकिन राज्य सरकार के प्रस्ताव स्वीकार करने के बाद ही इस समस्या का समाधान किया जा सकेगा। गौरतलब है कि निगम के 142 एक्ट के तहत कोलकाता नगर निगम किसी इमारत को खतरनाक घोषित कर सकता है, पर इसे तोड़ने का अधिकार अब तक निगम के पास नहीं है। फिरहाद ने बताया कि कई बार मकान मालिक व किरायेदारों के आपसी विवाद के कारण लोग खतरनाक मकानों को खाली नहीं करते। ऐसे में इमारत में रहने वाले लोगों को कानूनी सुरक्षा देने एवं मकान मालिक एवं किरायेदार के आपसी विवाद को मिटाने के लिए नये कानून को तैयार किये जाने की जरूरत है। मालिक व किरायेदार दोनों के अधिकारों की रक्षा हो पाये। सबसे अधिक खतरनाक मकान उत्तर व दक्षिण कोलकाता में है।
अवैध निर्माण किया तो भेजे जाएंगे जेल
अवैध निर्माण पर मेयर का कहना है कि अगर महानगर में कहीं भी अवैध निर्माण का कार्य किया जाता है तो ऐसे लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। निगम की टीम जाकर जांच करेगी और उसके बाद अवैध निर्माण करने वाले व्यक्ति को जेल भी भेजा जा सकता है। निगम का लक्ष्य महानगर से अवैध निर्माण प्रक्रिया को समाप्त करना है।
रडार पर है पोर्ट इलाका
महानगर में 2000 से अधिक इमारतें हैं जो अवैध निर्माण की श्रेणी में आती हैं। विभागीय अधिकारी ने बताया कि पूरे कोलकाता में ही अवैध निर्माण हो रहा है मगर पोर्ट एरिया निगम के रडार पर है जहां पलक झपकते ही अवैध निर्माण हो जाता है। ऐसे में पोर्ट इलाकों पर विशेष निगरानी की जाएगी।