कहा राज्य में चल रहा जंगल राज
संवाददाताओं से बातचीत के दौरान फूट-फूटकर रोने लगे
सन्मार्ग संवाददाता
पुरुलिया : सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक पोस्ट किये जाने के कथित तौर पर आरोप में गिरफ्तार कांग्रेस नेता सन्मय बनर्जी को पुरुलिया जिला अदालत से रविवार को सशर्त जमानत मिल गयी। जेल से रिहा होते ही उन्होंने अपने जीवन को लेकर खतरा बताया। इस दौरान संवाददाताओं से बातचीत करते हुए उन्होंने अपना धैर्य खो दिया और रो पड़े। रोते हुए उन्होंने पुलिस एवं राज्य सरकार पर जमकर निशाना साधा और कहा कि राज्य में जंगल राज चल रहा है। यहां लोगों के बोलने के सांवैधानिक अधिकार भी छीने जा रहे हैं। पुलिस पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि पुलिस कानून का उल्लंघन कर राज्य सरकार के इशारे पर लोगों के मानवाधिकारों का हनन कर रही है।
कहा सहनी पड़ी थर्ड डिग्री, पीने को नहीं मिला पानी, रखा गया अंधेरे कमरे मेंः
उन्होंने आपबीती बताते हुए कहा कि आज तक थर्ड डिग्री सुना था, पर इस बार उसे सहा है। 9 घंटे तक एक अंधेरे कमरे में टूल पर बैठा कर रखा गया और पीने के लिए पानी मांगने पर पानी तक नहीं दिया गया। वहीं पुलिस के लोग सामने ही पानी पीते रहे। उन्होंने कहा कि पुलिस ने जिस प्रकार से उनके साथ 14 घंटा तक अमानवीय व्यवहार किया, उससे उनका सिर लज्जा से झुक जा रहा है। उन्होंने सवाल उठाते हुए कहा कि पंचायत चुनाव के दौरान काफी संख्या में लोग मारे गये, सिविक वोलेंटियर को स्थायी करने सहित कई अन्य मुद्दे पर लगातार प्रश्न उठाने की उन्हें यह सजा मिली है।
मैं तो मुख्यमंत्री को पसंद करता थाः
सन्मय बंद्योपाध्याय ने कहा कि वे भी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को पसंद करते थे। वर्ष 2011 में सरकार बनवाने में वे भी शरीक रहे हैं। उन्होंने कहा कि पर जिस प्रकार से राज्य में जंगल राज चल रहा है, वह उनसे सहन नहीं होता है। कई स्तरों पर भ्रष्टाचार, कट मनी सहित कई अन्य मुद्दे हैं, जिसे सहन नहीं किया जा सकता।
क्यों हुई थी गिरफ्तारीः
जानकारी के अनुसार सन्मय बंद्योपाध्याय ने 23 सितंबर को एक आपत्तिजनक पोस्ट किया था। उक्त पोस्ट को केंद्र कर पुरुलिया में साइबर क्राइम सेल में एक शिकायत दर्ज करवायी गयी थी। उस शिकायत के आधार पर उन्हें 17 अक्टूबर की रात को बैरकपुर कमिश्नरेट की खड़दह थाना पुलिस उनके घर से उन्हें गिरफ्तार कर थाना ले गयी थी। उसके बाद वहां से उन्हें पुरुलिया भेज दिया गया था, जहां रविवार को अदालत से सशर्त जमानत पर रिहा हुए। जानकारी के अनुसार अदालत ने उन्हें 3 हजार रुपये का मुचलका व सप्ताह में एक दिन जांच अधिकारी से मिलने की शर्त के साथ जमानत पर रिहा किया है।
सन्मय बंद्योपाध्याय ने जेल से रिहा होते ही बताया जान को खतरा
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