नई दिल्ली: राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत गुरुवार को कांग्रेस की सर्वोपरि नेता सोनिया गांधी से मुलाकात करने दिल्ली पहुंचे। अशोक गहलोत के 5 से 6 घंटे के लंबे इंतजार के बाद सोनिया गांधी मिलने के लिए तैयार हुई। सोनिया गांधी से मिलने गहलोत लिखित माफीनामा लेकर पहुंचे थे। गौरतलब है कि पूरे मुलाकात के दरमियान राजस्थान के प्रभारी अजय माकन गायब रहे। उन्हें रविवार (25 सितंबर) और सोमवार (25 सितंबर) को अशोक गहलौत समर्थकों ने खूब भला बुरा कहा था। सुबह अशोक गहलोत के 10 जनपथ पहुंचने से पहले दिग्विजय सिंह भी नॉमिनेशन भरने को लेकर पार्टी कार्यालय पहुंचे थे। कहा जा रहा है कि गहलोत अब डैमेज कंट्रोल में जुट गए हैं, लेकिन बाजी उनके हाथ से फिसलती हुई दिखाई पड़ रही है।
अशोक गहलोत रविवार यानी 25 सितंबर की घटना को लेकर लिखित माफीनामा लेकर पहुंचे थे। लेकिन जब उनके सीएम पद पर बने रहने की बात पूछी गई तो उन्होंने सोनिया गांधी के जिम्मे फैसला लेने की बात कहकर पल्ला झाड़ लिया। जाहिर है, कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव वो नैतिकता के आधार पर नहीं लड़ेंगे, लेकिन सीएम पद पर बने रहेंगे या नहीं, उसका फैसला सोनिया गांधी के हवाले छोड़ दिया।