
‘तिरंगे का अपमान, नहीं सहेगा हिंदुस्तान’
नई दिल्ली : गणतंत्र दिवस पर दिल्ली में हुई हिंसा का असर किसानों के आंदोलन पर दिख रहा है। दिल्ली और हरियाणा के बीच, सिंघु बॉर्डर पर कुछ लोग इकट्ठा हुए हैं जो खुद को आसपास के गांवों में रहने वाला बता रहे हैं। उनकी मांग है कि प्रदर्शनकारी किसान अब सिंघु बॉर्डर खाली कर दें। उनका कहना है कि वे लाल किले पर हुई हिंसक घटना से बेहद आहत हैं। एक ने कहा कि ”हम तिरंगे का अपमान नहीं सहेंगे। काफी वक्त हो गया, अब सिंघु बॉर्डर खाली होना चाहिए, हमें इस दौरान बहुत दिक्कत हुई है।” सिंघु बॉर्डर पर भारी पुलिस फोर्स तैनात है और वह सड़क के एक हिस्से पर बैरिकेड्स लगाना चाह रही है जिसका प्रदर्शनकरी विरोध कर रहे हैं।
‘बहुत हुआ, अब खाली कर दें सिंघु बॉर्डर‘
‘तिरंगे का अपमान, नहीं सहेगा हिंदुस्तान’ नारा लगाते कुछ लोग गुरुवार को सिंघु बॉर्डर पहुंचे। उनके हाथों में भी यही नारा लिखे बैनर थे। दीपांशु पाल ने कहा, “सारा रास्ता घेर रखा है और खेतों में से भी जा रहे हैं। हमारा ये कहना है कि सिंघु बॉर्डर को खाली करें।” किसान पिछले दो महीने से भी ज्यादा वक्त से सिंघु बॉर्डर समेत दिल्ली की अलग-अलग सीमाओं पर डटे हुए हैं। हालांकि मंगलवार की घटना के बाद चिल्ला बॉर्डर से धरना खत्म कर दिया गया है। गाजीपुर बॉर्डर पर भी टेंट लगभग उखड़ चुके हैं। सिंघु बॉर्डर पर पुलिस बैरिकेडिंग कर प्रदर्शनकारियों को सड़क के एक तरफ से दूसरी तरफ जाने से रोकना चाहती है। प्रदर्शनकारी इसका विरोध कर रहे हैं। स्थिति को देखते हुए सिंघु बॉर्डर पर भारी पुलिसबल तैनात है।