अहमदाबाद : कोरोना महामारी के उपरांत लगाई गई लॉकडाउन की वजह से देश की अर्थव्यवस्था कमजोर हो गई है। ऐसे में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सोमवार को यह उम्मीद जतायी है कि अगली, यानी दिसंबर की तिमाही में देश का सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) पॉजिटिव जोन में आ जाएगा। बता दें कि कोरोना संकट के असर की वजह से पिछली दो तिमाहियों में जीडीपी लगातार नेगेटिव रही, यानी इसमें गिरावट आयी है। जून की तिमाही में देश की जीडीपी में 23.9 फसदी की गिरावट आयी थी और सितंबर की तिमाही में इसमें 7.5 फीसदी की गिरावट देखी गयी।
गृह मंत्री अमित शाह ने वर्चुअल तरीके से अहमदाबाद के दो ओवर ब्रिज का उद्घाटन करते हुए कहा कि अर्थव्यवस्था में सुधार के लिए प्रधानमंत्री मोदी कठोर मेहनत कर रहे हैं और कोराना संकट के दौर में उन्होंने राहत पैकेज के ऐलान किये हैं।
क्या कहा गृह मंत्री अमित शाह ने
सूत्रों के मुताबिक, शाह ने कहा, ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र भाई ने कोविड-19 महामारी के दौर का इस्तेमाल अर्थव्यवस्था पर इसके दीर्घकालिक असर को देखते हुए नीति निर्धारण में किया। एक सेकेंड की भी देरी किये बिना उन्होंने बिजली, औद्योगिक नीति, बिजली, कृषि जैसे कई क्षेत्रों में सुधार के लिए किया ताकि विकास की गति बनाए रखने के लिए एक व्यवस्था तैयार हो सके। उन्होंने गरीबों के कल्याण और अर्थव्यवस्था में तेजी लाने के लिए 20 लाख करोड़ रुपये का पैकेज दिया।’ शाह ने कहा, ‘इन सबका ही यह नतीजा है कि हाल के जीडीपी आंकड़ों को देखें तो हम ज्यादा पीछे नहीं हैं और मुझे उम्मीद है कि अगली तिमाही में जीडीपी पॉजिटिव जोन में आ जाएगी।’
तकनीकी रूप से आ गयी है मंदी
देश में लगातार दो तिमाहियों – जून और सितंबर – में जीडीपी नेगेटिव में रही है। लगातार दो तिमाही में निगेटिव ग्रोथ को तकनीकी तौर पर मंदी माना जाता है। कहने का मतलब ये है कि सरकार ने आधिकारिक तौर पर मंदी को स्वीकार कर लिया है। हालांकि त्योहारी सीजन की अच्छी बिक्री और अर्थव्यवस्था के ज्यादातर क्षेत्रों के खुल जाने की वजह से यह उम्मीद की जा रही है कि दिसंबर की इस वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही में जीडीपी पॉजिटिव रहेगी यानी उसमें बढ़त होगी।
गरीबों के लिए 20 लाख करोड़ का पैकेज
शाह ने कहा कि मोदी ने गरीब लोगों के कल्याण के लिए 20 लाख करोड़ रुपये का पैकेज भी दिया है। गृह मंत्री ने कहा, ‘ताजा जीडीपी आंकड़ों को देखें, तो हम सिर्फ छह प्रतिशत पीछे हैं। मुझे उम्मीद है कि अगली तिमाही में जीडीपी की वृद्धि दर सकारात्मक रहेगी।’ कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए लागू लॉकडाउन की वजह से चालू वित्त वर्ष ही पहली तिमाही (अप्रैल-जून) में सकल घरेलू उत्पाद में 23.9 प्रतिशत की गिरावट आई थी। दूसरी तिमाही (जुलाई-सितंबर) में यह गिरावट कम होकर 7.5 प्रतिशत रह गई है।