सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : मंगलवार को कलकत्ता हाई कोर्ट द्वारा कोलकाता और विधाननगर में हुक्का बार पर प्रतिबंध हटाए जाने के निर्णय पर प्रतिक्रिया देते हुए मेयर फिरहाद हकीम ने कहा कि हुक्का बार पर प्रतिबंध लगाने का निर्णय उन्होंने अभिभावक के तौर पर लिया था। बतौर एक पिता होने के नाते मुझे लगा कि यह युवा पीढ़ी के लिए नुकसानदेह है। इससे होने वाले नुकसान को देखते हुए यह प्रतीत हुआ कि हुक्का बार का व्यवसाय सही नहीं है। हालांकि, अदालत का निर्णय सर्वोपरि है। निश्चित तौर पर उन्होंने छात्रों और लोगों की भलाई को ध्यान में रख कर यह फैसला लिया होगा। मेयर ने कहा कि कई बार ऐसे मामले सामने आए हैं जहां पाया गया है कि हुक्का बार में मादक पदार्थ का इस्तेमाल होता है जिसे पकड़ना काफी मुश्किल होता है। माननीय न्यायाधीश क्या इस तरह की घटनाओं का समर्थन करेंगे। वहीं गत 2 दिसंबर को उनके द्वारा हुक्का बार पर प्रतिबंध के निर्देश को वापस लेने के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि हाई कोर्ट की जजमेंट मिलने के बाद इस विषय पर विचार किया जाएगा।
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