
अदालत से निकलते समय रुधे गले से की एडवोकेट से अपील
सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : स्कूलों के नियुक्ति घोटाले में अभियुक्त एवं प्राइमरी बोर्ड के पूर्व चेयरमैन मानिक भट्टाचार्या को बुधवार को सीबीआई के स्पेशल जज की अदालत में पेश किया गया। इससे पहले भी उन्हें कई बार अदालत में पेश किया गया है पर इस बार के बुधवार को वे टूट गए। अदालत के कठघरे से बाहर आते समय बहुत ही कातर स्वरों में अपने एडवोकेट से विनती करते हुए कहा कि ‘मुझे मार डालो, लेकिन पत्नी और बेटे को बख्श दो।’
इससे पहले अदालत में पेशी के समय ईडी की तरफ से उनके खिलाफ बेहद संजीदा आरोप लगाए गए थें। करोड़ों की रकम का भ्रष्टाचार करने का आरोप भी लगा है। इसके बावजूद अदालत के कठघरे में खड़े मानिक भट्टाचार्या को बेचैन होते नहीं देखा गया था। पर इस बुधवार को जब ईडी की तरफ से चार्जशीट दाखिल करते समय जब पत्नी और बेटे का नाम आया तो वे बेचैन हो उठे। शायद उन्हें यह उम्मीद नहीं थी। लिहाजा कठघरे का एक-एक पल उन्हें वर्षों की तरह लगने लगा। मानिक भट्टाचार्या के खिलाफ अदालती कार्यवाही के चश्मदीद रहे लोगों के मुताबिक उन्हें इस कदर बेचैन इससे पहले नहीं देखा गया था। लिहाजा कठघरे से बाहर निकलते ही अपने एडवोकेट की शरण में कुछ पल के लिए चले गए। मीडिया के सवालों के जवाब में कहा न पहले कुछ बोला था और न आज कुछ बोलूंगा। मानिक के 57 बैंक खातों में जमा नौ करोड़ से अधिक रकम ईडी पहले ही जब्त कर चुका है। इसके अलावा अभी तक 29 करोड़ की रकम की जानकारी मिल चुकी है। सब कुछ गवांने के बाद जब पत्नी और बेटे की गर्दन फंसती नजर आई तो मानिक भट्टाचार्या अपने आप पर काबू नहीं रख पाएं।