
जस्टिस कौशिक चंद ने की मकाउट के मामले में टिप्पणी
सन्मार्ग संवाददाता
कोलकाता : हाई कोर्ट के जस्टिस कौशिक चंद ने मौलाना अबुल कलाम आजाद टेक्निकल यूनिवर्सिटी (मकाउट) के एक मामले की सोमवार को सुनवायी करते हुए टिप्पणी की कि सरकार को यह तो पता होना चाहिए कि आदेश कैसे दिए जाते हैं। सरकार ने मकाउ के वीसी की सेवा समाप्त कर दी है। जस्टिस चंद ने आदेश दिया है कि इस मामले में सात दिनों तक यथास्थिति बनी रहेगी और मंगलवार को इसकी सुनवायी होगी।
एडवोकेट उत्तम कुमार मंडल ने यह जानकारी देते हुए बताया कि मकाउ के वीसी सैकत मैत्रा को 29 जुलाई को रात सात बजे के करीब एक मेल भेज कर बता दिया गया कि उनकी सेवा समाप्त की जा रही है। सहायक सचिव की तरफ से यह जानकारी दी गई थी। एडवोकेट मंडल ने बताया कि इस मेल में सेवा समाप्त करने की कोई वजह नहीं बतायी गई है। जस्टिस चंद ने सरकार को आदेश दिया है कि इस बाबत विभिन्न विभागों के बीच हुए पत्राचार का पूरा ब्योरा मंगलवार को कोर्ट में पेश किया जाए। सैकत मैत्रा का कार्यकाल 2021 के फरवरी में चार साल या 65 साल तक की उम्र के लिए बढ़ाया गया था। एडवोकेट मंडल ने बताया कि वीसी के चयन के लिए बनाई गई सर्च बॉडी ने जो सूची पेश की थी उसमें मैत्रा का नाम पहले स्थान पर था।