सन्मार्ग संवाददाता
बनगांव: उत्तर 24 परगना के गाइघाटा इलाके में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहाँ एक युवक को अपनी पहली पत्नी के बांग्लादेश में मौजूद होने के बावजूद भारत में अवैध रूप से दूसरी शादी करने और इसके लिए फर्जी भारतीय पहचान पत्र बनवाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। यह गिरफ्तारी युवक की पहली पत्नी की शिकायत के बाद हुई, जिसने उसके पूरे अवैध कृत्य का पर्दाफाश किया।
बांग्लादेशी युवक ने बनाई भारत में नई दुनिया
गिरफ्तार अभियुक्त की पहचान हरिचांद मंडल के रूप में हुई है। वह गाइघाटा के मोरालडांगा गाँव में अपनी दूसरी पत्नी और पिता के साथ रह रहा था, जहाँ उसने अपनी एक नई दुनिया बसा रखी थी। हरिचांद की पहली पत्नी तहमीना खातून ने हाल ही में उसके खिलाफ पुलिस में गंभीर आरोप लगाते हुए शिकायत दर्ज कराई।
तहमीना खातून का दावा है कि हरिचांद वास्तव में बांग्लादेश के सातखीरा सदर थाना क्षेत्र का निवासी है। वह अपने माता-पिता के साथ बांग्लादेशी पासपोर्ट और वैध वीजा पर भारत में दाखिल हुआ था।
अवैध रूप से बनवाए भारतीय पहचान पत्र
तहमीना के अनुसार, भारत आने के बाद हरिचांद का इरादा यहीं बसने का था। उसने सुनियोजित तरीके से अवैध साधनों का उपयोग करते हुए भारतीय वोटर कार्ड, आधार कार्ड और पैन कार्ड सहित अन्य आवश्यक पहचान पत्र बनवा लिए। इन फर्जी दस्तावेजों की मदद से उसने गाइघाटा में अपना स्थायी निवास स्थापित किया। यहीं उसने एक अन्य बांग्लादेशी महिला पूजा रॉय से दूसरी शादी कर ली और उसके साथ अपना नया जीवन शुरू कर दिया।
वीजा अवधि समाप्त होने के बावजूद रुका रहा भारत में
तहमीना खातून ने अपने आरोपों में यह भी बताया कि हरिचांद का वीजा कई समय पहले ही समाप्त हो चुका था। इसके बावजूद, उसने नियमों का उल्लंघन करते हुए अपने वतन बांग्लादेश वापस नहीं लौटने का फैसला किया और अवैध रूप से भारत में रुका रहा। इस पूरे अवैध कृत्य को अंजाम देने और फर्जी दस्तावेज़ बनवाने में स्थानीय लोगों की मिलीभगत का भी आरोप है।
तहमीना ने देवव्रत सरकार, रामप्रसाद सरकार, रेखारानी सरकार और गौतम ढाली नामक स्थानीय निवासियों पर हरिचांद को भारतीय नकली पहचान पत्र बनाने और उसे भारत में अवैध रूप से रहने में मदद करने का आरोप लगाया है। शिकायत के बाद, गाइघाटा थाना पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए तुरंत जांच शुरू कर दी है और अभियुक्त हरिचांद मंडल को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस अब फर्जी दस्तावेज़ बनाने में सहयोग करने वाले अन्य आरोपियों की भूमिका की भी जांच कर रही है।